Kargil Vijay Diwas 2021 : साथियों की जान बचाने के लिए हाथ में उठा लिया था दुश्मन का फेंका हैंडग्रेनेड
26 जुलाई को कारगिल की जंग को 22 साल पूरे हो गए। मई 1999 की गर्मियों में कारगिल सेक्टर जो अब लद्दाख में है, उस समय जम्मू कश्मीर में आता था, वहां पर 60 दिनों तक भारत और पाकिस्तान की सेनाएं आमने-सामने थीं।
कानपुर के कल्याणपुर आवास विकास में रहने वाले अजीत सिंह राष्ट्रीय राइफल (आरआर) में सिपाही थे। कारगिल युद्ध के दौरान उन्हें असम से बुलाकर कुपवाड़ा भेजा गया था। जब ऊंची बर्फीली पहाड़ियों पर छिपा बैठा दुश्मन हैंडग्रेनेड से हमला कर रहा था, तब वे भी मुस्तैदी से मुंह तोड़ जवाब दे रहे थे।
बताते हैं कि इसी बीच दुश्मन का एक हैंडग्रेनेड उनके पास आकर गिरा। साथियों को बचाने के लिए अपनी जान की परवाह किए बिना उन्होंने हैंडग्रेनेड उठा लिया। जैसे ही उसे फेंका तो वो फट गया, जिसमें अजीत सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए थे। दर्जनों ऑपरेशनों के बाद अजीत की जिंदगी बच पाई थी लेकिन हौसला आज भी उनका आसमान पर है।
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