चीनी सैनिकों ने फिर की घुसपैठ
एक तरफ भारत सरकार हिंदी-चीनी भाई-भाई के नारे लगाती है, ताकि दोनो देशों के बीच अमन और शांति कायम रहे, लेकिन चीन है कि अपनी हरकतों से बाज नहीं आता। अभी राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी बीजिंग से लौटे ही हैं कि चीनी सेना ने अपनी फितरत दिखाते हुए भारतीय सीमा में घुसपैठ की कोशिश की है। हालांकि भारतीय सेना ने इन्हें खदेड़ दिया जिसके बाद ये अपनी सीमा में वापस चले गए।
भारतीय सेना ने खदेड़ा
मोदी सरकार के लाख दावों के बावजूद एक बार फिर चीनी सेना ने भारतीय सीमा में घुसपैठ करने की नापाक हकरत की है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक अरुणाचल प्रदेश में लगभग 250 चीनी सैनिक घुस गए, जिन्हें भारतीय सेना ने खदेड़ भगाया। गौरतलब है कि वर्ष 2013 में देपसांग और 2014 लद्दाख में भी ऐसी घटनाएं हो चुकी है।
चार दल बना सीमा में घुसे
रक्षा मंत्रालय के मुताबिक घटना 9 जून की है, जब अरुणाचल प्रदेश के कामेंग जिले के यांगत्से क्षेत्र में चार दलों में घुस गए। जब भारतीय सेना ने इसका कड़ा विरोध किया तो चीनी सेना पीछे हटी। रक्षा मंत्री बार-बार यह कहते रहते है कि मोदी सरकार की नीतियों के कारण सीमा पार से अतिक्रमण की घटनाएं कम हुई है, हालांकि, विपक्ष सरकार के इन दावों को खारिज कर रहा है।
क्या है विवाद?
भारत और चीन के बीच विवादित इलाका 4000 किलोमीटर का है। लेकिन चीन का कहना है कि सीमा विवाद वाला क्षेत्र महज 2000 किलोमीटर का है। इसकी वजह यह है कि पाकिस्तान ने अपने कब्जे वाले कश्मीर में से अक्साई चीन को चीन के ही सुपुर्द कर दिया है। इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच कई दौर की बातचीत हो चुकी है। लेकिन नतीजा सिफर ही रहा है।
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