शास्त्री जी की मौत के पीछे का सच सबके सामने आना चाहिए : योगी

0

यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि देश के पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की असामयिक मृत्यु (Shastri’s death) के बारे में कई बातें और घटनाक्रम सामने आए हैं। ऐसे में देश की जनता जानना चाहती है कि उनके साथ क्या हआ था।

शास्त्री जी का जीवन सभी के लिए प्रेरणा दायक हैं

मुख्यमंत्री योगी गुरुवार को वाराणसी पहुंचे। सबसे पहले उन्होंने राज्यपाल राम नाईक के साथ रामनगर में लाल बहादुर शास्त्री समृति भवन और संग्रहालय का लोकार्पण किया। मीडिया से बात करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि शास्त्री जी का जीवन सभी के लिए प्रेरणा दायक हैं।

आखिर शास्त्री जी की मृत्यु का सच क्या है…

उन्होंने विपन्नता को कभी उनके आगे बढ़ने में बाधक नहीं बनने दिया। जय जवान-जय किसान का नारा देकर देश को नई दिशा दी थी। शास्त्री जी के कुशल नेतृत्व में ही देश की सेना ने 1965 का युद्ध जीता था।देश को खाद्यान्न के मामले में आत्मनिर्भर बनाने में भी उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही। देश के लोग शास्त्री जी के लिए अपार श्रद्धा रखते हैं। लोग जानना चाहते हैं कि आखिर शास्त्री जी की मृत्यु का सच क्या है।

Also Read :  एनसीपी को झटका, लोक सभा सांसद तारिक अनवर ने दिया इस्तीफा

मुख्यमंत्री ने बताया कि वाराणसी और रामनगर को जोड़ने वाले सामनेघाट पुल का नाम लाल बहादुर शास्त्री के नाम पर रखने का प्रस्ताव मिला है। यूपी सरकार इस पर विचार करेगी। संस्कृति विभाग के माध्यम से कॉरपस फंड बनाया जाएगा ताकि लाल बहादुर शास्त्री के भव्य स्मारक के काम को और आगे बढ़ाया जा सके।

पैतृक आवास में आयोजित कार्यक्रम में शिरकत करने पहुंचे उनके बेटे व पूर्व सांसद अनिल शास्त्री ने कहा कि पिता की मौत की जांच के लिए वे प्रधानमंत्री को फिर पत्र लिखेंगे। मौत से जुड़े कई सबूत ताशकंद में है जहां 11 जनवरी 1966 को शास्त्री जी की संदिग्ध मौत हुई थी। कुछ सवालों को उठाते हुए पूछा कि आखिर क्या वजह थी जो ताशकंद में भारत-पाकिस्तान के बीच हुए समझौते की जगह से 15 किलोमीटर दूर शास्त्री जी के रहने का इंतजाम किया गया था। उनके कमरे में घंटी और टेलीफोन न होना भी रहस्यमय है।

(अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक पर ज्वॉइन करें। आप हमें ट्विटर पर भी फॉलो कर सकते हैं।)

Leave A Reply

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. AcceptRead More