चीनी किट से चल रहा 'भ्रूण लिंग' जांच का गंदा खेल
एक तरफ देश में सरकार बेटियों को पढ़ाने और आगे बढ़ाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च कर रही है। नई नई योजनाएं चलाई जा रही हैं, नारा दिया जा रहा है कि बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ । वहीं दूसरी तरफ इन्हीं बेटियों को जन्म से कोख में ही मारने का गंदा खेल चल रहा है। दरअसल, पहले अल्ट्रासाउंड जांच के जरिए पता करके भ्रूण हत्या की जा रही थी, तो वहीं अब इस घिनौने खेल को चीनी किट के जरिए किया जा रहा है।
चीनी किट से हो रही है भ्रूण की जांच
भ्रूण लिंग की जांच सिर्फ अल्ट्रासाउंड से ही नहीं हो रही है, बल्कि खून की जांच से भी लिंग का पता लगाया जा रहा है। चीन की प्रतिबंधित किट से भारत में लिंग की जांच का खेल चल रहा है। गुपचुप तरीके से चीनी किट भारत में खपाई जा रही है। हरियाणा समेत दूसरे राज्यों में किट पकड़ी गई हैं।अप्रैल 2017 से हरियाणा और मुंबई समेत दूसरे राज्यों में चीनी किट से गर्भ में पल रहे शिशु का लिंग पता करने का घिनौना खेल चल रहा है। अकेले हरियाणा में गर्भ में ही लिंग पता करने के 80 मामले सामने आ चुके हैं। 10 से ज्यादा लोगों पर कानूनी कार्रवाई हो चुकी है।
इसे कहते हैं ‘फिटल हीमोग्लोबिन’ जांच
गर्भ में पल रहे भ्रूण के लिंग का पता लगाने के लिए खून की दो बूंद किट पर रखी जाती है, जिसके बाद नतीजा सामने आ जाता है। चिकित्सा विज्ञान में इसे ‘फिटल हीमोग्लोबिन’ जांच कहते हैं। इसके अलावा किट के साथ मुहैया कराई जा रही दवा से कोख में ही लड़कियों की हत्या किए जाने की भी आशंका है।
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अधिकारी ऐसे किसी मामले से कर रहे हैं इंकार
आईएफयूएमबी के डॉ. पीके श्रीवास्तव ने कहा कि प्रतिबंधित चीनी किट की बेच-खरीद की निगरानी और जांच तंत्र का पता लगाना कठिन है। लेकिन भारत में इस तरह की किट मिलना गंभीर बात है। इसकी धरपकड़ को लेकर अफसरों को अलर्ट हो जाना चाहिए, ताकि कोख में लड़कियों की हत्या को प्रभावी तरीके से रोका जा सके। वहीं यूपी के अधिकारियों का कहना है कि अभी प्रदेश में इस तरह की किट की बेच खरीद संबंधी कोई भी जानकारी सामने नहीं आई है।
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