मुलायम नहीं ‘माया’ को पीएम की कुर्सी तक पहुंचाएंगे अखिलेश!

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बीएसपी ने लखनऊ और कानपुर मंडल के पार्टी कार्यकर्ताओं के सम्मेलन में पार्टी नेताओं ने कार्यकर्ताओं से आह्वान किया कि वह मायावती को देश का अगला प्रधानमंत्री बनाने के लिये जुट जाएं, क्योंकि देश में दलितों का सबसे सशक्त प्रतिनिधित्व वह ही कर सकती हैं।

सोमवार को पार्टी नेताओं ने दावा किया कि इस समय देश में मायावती ही एक मात्र ऐसी नेता है जो भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को दोबारा सत्ता में आने से रोक सकती है और उन्हें क्षेत्रीय पार्टियों का भी समर्थन हासिल है। बीएसपी कार्यकर्ताओं के इस आह्वान के साथ ही राजनीतिक गलियारे में पीएम पद को लेकर चर्चा का दौर शुरू हो गया है।

कशमकश में अखिलेश

बीएसपी की ओर से मायावती को पीएम पद का दावेदार बनाए जाने से समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव के सामने धर्म संकट पैदा हो गया है।

दरअसल, अखिलेश यादव ने पिछले दिनों सपा कार्यकर्ताओं के साथ बैठक में कहा था कि वह मुलायम सिंह यादव को 2019 में प्रधानमंत्री के पद पर देखना चाहते हैं। बीएसपी की ओर से मायावती को पीएम प्रत्याशी बनाए जाने का आह्वान किए जाने के बाद अखिलेश यादव के सामने सवाल है कि क्या वह पिता मुलायम सिंह यादव को नजरअंदाज करेंगे।

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दरअसल, 2019 के लोकसभा चुनाव में बसपा और सपा गठबंधन करके चुनाव लड़ने की तैयारी में है। ऐसे में दोनों पार्टियों को किसी एक चेहरे को ही आगे कर मैदान में उतरना होगा, लेकिन दोनों ही दल अपना-अपना पीएम प्रत्याशी बता रहे हैं।

अखिलेश पीएम बनने के सपने से दूर

पिछले महीने जी न्यूज के साथ बातचीत में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा था कि फिलहाल वह प्रधानमंत्री पद का सपना नहीं देखते हैं। वे राज्य की सियासत संभालना चाहते हैं।

मायावती के पीएम बनाने के सवाल पर उन्होंने स्पष्ट तौर से तो कुछ नहीं कहा था, लेकिन ये जरूर कहा था कि वह बड़ी हैं और चुनाव बाद देखा जाएगा कि वह कौन सी जिम्मेदारी संभालेंगी। अखिलेश के इस बयान के मायने निकाले जाएं तो कह सकते हैं कि गठबंधन बचाए रखने के चलते अखिलेश यादव ने मायावती को केंद्र में ओहदा दिलाने की बात को सिरे से नकार नहीं रहे हैं।

राहुल गांधी भी है रेस में…

बीएसपी के नेता जयप्रकाश सिंह ने राहुल गांधी के पीएम पद की दावेदारी पर सवाल उठाए हैं। जयप्रकाश सिंह ने राहुल गांधी के नाम के साथ विदेशी मूल का मुद्दा जोड़ा है। हालांकि बीएसपी ने उनके इस बयान के बाद एक्शन लेते हुए उन्हें राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के पद से हटा दिया है। इससे एक बात तो साफ है कि बीएसपी चाहती है कि आगामी चुनावों में कांग्रेस के साथ उसके रिश्ते बरकरार रहें।

राहुल गांधी के लिए पीएम पद की दावेदारी पर तृणमूल कांग्रेस और समाजवादी पार्टी भी चुप्पी साध चुकी है। वहीं बीजेपी और एनडीए के अन्य घटक दल विपक्षी खेमे में पीएम पद के कई दावेदार होने की बात का जोर शोर से प्रचार कर रहे हैं।

1990  में पीएम बनते बनते रह गए थे मुलायम

सपा के संस्थापक मुलायम सिंह यादव 1990 के दशक के अंत में प्रधानमंत्री बनते-बनते रह गए थे। साल 1998 के अंत में तत्कालीन अटल बिहारी वाजपेयी की अल्पमत में आ गई थी। नए लोकसभा चुनाव की आहट के बीच वैकल्पिक सरकार बनाने की कोशिश जारी थी। एक मौके पर ऐसा लगा कि मुलायम सिंह यादव प्रधानमंत्री बन जाएंगे, लेकिन माना जाता है कि लालू प्रसाद ने उनके मंसूबे पर पानी फेर दिया था।साभार

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