मुस्लिम मंत्री ने ‘शिव रुद्राभिषेक’ करके पेश की मिसाल
राजस्थान की हॉट सीट पोकरण से विधायक और राज्य के अल्पसंख्यक मंत्री सालेह मोहम्मद ने सांप्रदायिक सद्भावना का एक उदाहरण (example) पेश किया है। सालेह मोहम्मद ने यहां के शिव मंदिर में 31 दिसंबर को पहुंचकर रुद्राभिषेक किया। वह कैबिनेट मंत्री की शपथ लेने से पहले भी रामदेवरा मंदिर गए थे और पूजा-अर्चना की थी।
सालेह ने कहा कि उनकी मंदिर और भगवान में आस्था है।सालेह मोहम्मत नवनियुक्त अशोक गहलोत सरकार के एकलौते मुस्लिम कैबिनेट मंत्री हैं। वह मुस्लिम धर्म गुरु गाजी फाकिर के बेटे हैं। गाजी फाकिर जैसलमेर-बाड़मेर के भारत-पाकिस्तान बॉर्डर में रहने वाले सिंधी मुस्लिम समुदाय के धार्मिक गुरु हैं।
सालेह मोहम्मद ने बताया कि उन्होंने दोनों मंदिरों में पूजा करके प्रदेश के लिए शांति, खुशहारी और समृद्धि मांगी। उन्होंने कहा, ‘मेरी और मेरे परिवार की हमेशा से ही हिंदू धर्म और मंदिरों में आस्था रही है। मुझे जब भी मौका मिलता है, मैं हमेशा मंदिर जाता हूं।’
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हाल ही में विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने सालेह मोहम्मद के खिलाफ हिंदू संत महाराज प्रताप पुरी को खड़ा किया था। महंत प्रताप पुरी बाड़मेर के तारतारा संप्रदाय के मुख्य पुजारी हैं। दोनों के बीच इस सीट पर कड़ा मुकाबला हुआ।
सालेह मोहम्मद और प्रताप पुरी दोनों को 82,000 से ज्यादा वोट मिले। जीत इतनी टक्कर की थी कि सालेह ने सिर्फ 872 वोटों से अपनी जीत दर्ज की। यह पहली बार हुआ है जब दो विधानसभा सीटों वाली जैसलमेल जिले के किसी विधायक को कैबिनेट मंत्री का पद दिया गया है। आज तक 200 सदस्यों वाले सदन में किसी भी सरकार ने यहां से चुने गए विधायक को मंत्री पद नहीं दिया।
सालेह मोहम्मद ने सोमवार की शाम को शिव मंदिर में पहुंचकर रुद्राभिषेक किया। संत मधुसूदन ने मंत्र पढ़े, सालेह मोहम्मद के माथे पर चंदन लगाया और कलाई में रक्षासूत्र भी बांधा। दो हफ्ते पहले जब सालेह मोहम्मद कैबिनेट मंत्री के पद पर शपथ लेने पहुंचे थे, तब भी उन्होंने अपने माथे पर चंदन और सिर पर भगवा रंग की पगड़ी बांध रखी थी।
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