अभिजीत हत्याकांड: कलयुगी मां ने उतारा बेटे को मौत के घाट

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लखनऊ पुलिस ने एक ऐसा ही चौंकाने वाला खुलासा किया है। जिसके बाद मां-बेटे का रिश्ता शर्मसार हो गया है। पहले इस मां ने अपने बेटे की हत्या की और फिर उसको छिपाने के लिए बिना पुलिस को बताए अंतिम संस्कार करना चाहा। हालांकि, पुलिस को जैसे ही सूचना मिली उसने शव का पोस्टमार्टम कराया तो पूरा मामला खुल गया। जिसके बाद आरोपी मां ने अपना जुल्म कबूल लिया।

विधान परिषद के सभापति रमेश यादव के बेटे अभिजीत की हत्या

जी हां, हम बात कर रहे हैं, उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सभापति रमेश यादव के बेटे अभिजीत की हत्या की, जिसकी गुत्थी लखनऊ पुलिस ने सुलझा ली है। पुलिस ने हत्या के आरोप में रमेश यादव की दूसरी पत्नी मीरा और उनके बड़े बेटे अभिषेक को गिरफ्तार किया है।

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दरअसल, अभिजीत की हत्या रमेश यादव के विधायक आवास दारुलशफा न्यू बी ब्लाक में गला घोंटकर की गई। अभिजीत की मां मीरा ने पूछताछ में इस बात को कबूल किया कि उ उसने गला घोंटकर अभिजीत को मौत के घाट उतारा है। हालांकि मीरा ने हत्या की वजह अभिजीत का अक्सर नशे की हालत में घर में अभद्रता करना बताया है।

रविवार सुबह हुई अभिजीत की अचानक मौत

दरअसल, रविवार सुबह अभिजीत की अचानक मौत हो गई थी, जिसके बाद उनकी मां मीरा और भाई अभिषेक ने पुलिस को सूचना दिए बगैर ही शव का अंतिम संस्कार करने जा रहे थे। घटना के समय रमेश यादव अपने आवास नहीं थे। वो अपने पैतृक गांव एटा थे। उनके आते ही परिजन मामले को दबाने के लिए बिना पुलिस कोई सूचना दिए अंतिम संस्कार करना चाहते थे। लेकिन घटना की जानकारी होते ही हजरतगंज पुलिस ने बीच रास्ते में उन्हें रोक लिया और छानबीन शुरू कर दी।

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जब अभिजीत के शव का पुलिस ने पोस्टमार्टम कराया गया तो उसमें पता चला कि उसकी हत्या गला घोंटकर की गई थी और सिर पर चोट के निशान भी मिले थे। जिसके बाद पुलिस ने अभिजीत की मां और भाई अभिषेक से पूछताछ शुरू कर दी। देर रात पुलिस की पूछताछ में मीरा टूट गई और अपना जुल्म कबूल लिया। मीरा ने पुलिस को बताया कि अभिजीत रोजना शराब पीता था और घर पर गाली-गलौज और मारपीट भी करता था,घटना के समय भी उसने शराब पी रखी थी जिसकी वजह से दोनों में कहासुनी हुई थी इसके बाद मीरा ने उसे धक्का दे दिया तो उसका सिर दीवार से टकरा गया और वह नीचे जमीन पर गिर गया। उसके बाद मीरा ने अपने दुपट्टे से उसका गला घोंट दिया।

पुलिस को गुमराह करने का प्रयास

पहले मीरा ने इस वारदात को छिपाने के लिए पुलिस को गुमराह करने का प्रयास किया था, कि रविवार तड़के करीब तीन बजे अभिजीत के सीने में दर्द हुआ था। अभिजीत के कहने पर उसके सीने पर उन्होंने बाम लगाया था। पेट में गैस की आशंका पर उसे दवा भी दी। उसे कुछ आराम मिला तो वह बेड पर सो गया था, जबकि मीरा जमीन पर सो गई थी। जबकि उनका बड़ा बेटा अभिषेक नौकर के साथ बाहर गया था। सुबह 7:30 बजे जब उनकी आंख खुली और एसी बंद मिला तो उन्होंने अभिजीत को आवाज लगाई तो उसने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। इसी बीच अभिषेक भी आ गया।

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अभिषेक ने भाई को जगाने की कोशिश की और नब्ज देखने के बाद उन्हें बताया कि अभिजीत की तो मौत हो गई है। जिसके बाद इसकी सूचना अभिजीत के पिता और उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सभापति रमेश यादव को दी गई। पुलिस को जब शक हुआ तो रास्ते में पुलिस ने मीरा से पोस्टमार्टम और पुलिस में शिकायत न करने के बारे में पूछा तो मीरा ने कहा था कि अभिजीत की मौत स्वभाविक है। वहीं भाई अभिषेक भी गोलमोल जवाब दे रहा था। जिसके बाद पुलिस ने मामले की जांच शुरू की तो ये चौंकाने वाला खुलासा हुआ है।

फिलहाल, अभिजीत के हत्यारे मां और भाई सलाखों के पीछे हैं। लेकिन अभी भी सवाल ये है कि आखिर मीरा अकेले कैसे अभिजीत की हत्या कर सकती है। क्या केवल शराब पीने के लत से परेशान होकर कोई मां अपने बेटे की हत्या कर सकती है। क्या रमेश यादव को अपने बेटे के इस लत के बारे में पता नहीं था। या फिर हत्या की वजह कुछ और ही है।

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