मीडिया पर पाबंदी हटाने पर SC ने कहा – हम सरकार को और वक्त देना चाहते हैं
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 अधिकतर प्रावधानों को रद्द किए जाने के खिलाफ जनहित याचिका दायर करने पर वकील एमएल शर्मा को सुप्रीम कोर्ट ने कड़ी फटकार लगाई है। चीफ जस्टिस ने कहा कि बिना जानकारी की पुष्टि किए, कुछ सूचनाओं के आधार पर याचिका दायर कर दी गई है।
इसके साथ ही चीफ जस्टिस ने कहा कि आपकी याचिका ऐसी नहीं है जिस पर सुनवाई की जा सके। हम आपकी याचिका को खरिज कर देते, लेकिन ऐसा करने से इस मामले में दायर कई और याचिकाओं पर असर पड़ेगा।
नहीं खारिज की सुनवाई-
सुप्रीम कोर्ट ने मीडिया पर बैन हटाने संबंधी याचिका पर एक बार फिर कहा कि प्रदेश के हालात स्थिर करने के लिए सरकार को कुछ और वक्त मिलना चाहिए। सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि सुरक्षा एजेंसियां हर दिन हालात बेहतर करने की कोशिश में हैं।
याचिकाकर्ता को सुप्रीम कोर्ट ने लगाई फटकार-
मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई ने याचिकाकर्ता वकील को जमकर फटकार लगाते हुए कहा, ‘जनहित याचिका के साथ कोई एनेक्सचर नहीं लगाया गया है। मैं आपकी याचिका आधे घंटे से पढ़ने की कोशिश कर रहा हूं, लेकिन कुछ समझ नहीं पा रहा, आपकी प्रेयर क्या है, कुछ पता नहीं, आप कहना क्या चाहते हैं।
कश्मीर में चालू है लैंड लाइन कनेक्शन-
याचिकाकर्ता ने सीजेआई से जम्मू-कश्मीर में लैंड लाइन कनेक्शन चालू करने के लिए निर्देश जारी करने की मांच की। इस पर जस्टिस बोबडे ने कहा कि लैंड लाइन कनेक्शन चालू है। जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट के जज से बात हुई है। सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर मामले में फिलहाल कोई आदेश देने से इंकार किया।
6 याचिका में से 4 त्रुटिपूर्ण-
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 के प्रावधान को कम किए जाने पर छह याचिकाएं दायर हुई हैं, लेकिन उनमें से चार अभी भी दोषपूर्ण हैं और यह मुद्दे पर याचिकाकर्ता की गंभीरता को दर्शाता है। कोर्ट ने कहा कि सभी याचिकाओं में डिफेकट दूर होने के बाद सुनवाई के लिए लिस्ट किया जाएगा।
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