चुनाव आयोग ने पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर नई गाइडलाइन जारी किया है। रोड शो, पदयात्रा,बाइक,गाड़ियों की रैली के साथ जुलूस निकालने पर पाबंदी रहेगा। इसकी जानकारी चुनाव आयोग ने प्रेस नोट जारी करके दी है। वही आयोग ने चुनाव की तारीख को देखते हुए राजनीतिक पार्टियों को इनडोर हॉल में पब्लिक मीटिंग और आउटडोर मीटिंग के लिए कुछ हद तक छूट दी है। जिससे राजनीतिक पार्टियां चुनाव का प्रचार प्रसार कर सकें।
चुनाव आयोग ने जारी की नई गाइडलाइन:
चुनाव आयोग की ओर से 2022 विधानसभा चुनाव को देखते हुए नई नोटिस जारी किया गया है। कहा गया है कि कोरोना महामारी को देखते हुए गाइडलाइन का सख्ती से पालन जारी रहेगा।
- आउटडोर मीटिंग/इनडोर मीटिंग/रैली के दौरान प्रतिबंधों में और ढील कुछ शर्त के साथ दी जाएगी। इनमें शामिल होने वाले लोगों की संख्या हॉल में अधिकतम 50 प्रतिशत और खुले मैदान के 30 प्रतिशत तक सीमित होनी चाहिए।
- खुले मैदान में रैलियां केवल जिला अधिकारियों की ओर सेनामित मैदानों में आयोजित की जा सकती हैं। इसके साथ ही सभी शर्तों के पालन के एसडीएमए अधीन होंगी।
- इन मैदानों का आवंटन जिला प्रशासनई-सुविधा पोर्टल के माध्यम से पहले आओ पहले पाओ के आधार पर समान रूप से करेगा। इन मैदानों की क्षमता जिला प्रशासन की ओर से काफी पहले से तय की जाएगी। वही सभी पक्षों को इसकी सूचना पहले ही दे दी जाएगी।
- खुली जमीन की बैठकों के दौरानलोगों को पर्याप्त समूहों में समायोजित करके और समूह के बीच पर्याप्त दूरी होना चाहिए। आयोजक इस व्यवस्था को सुनिश्चित करेंगे। साथ ही व्यवस्था के पालन को सुनिश्चित कराने की जिम्मेदारी नोडल अधिकारी की होगी।
- एक साथ कार्यक्रम स्थल से भीड़ न हों इसलिए निकल रहे लोगों के लिए कई प्रवेश और निकास गेट होने चाहिए । सभी प्रवेश द्वारों पर पूरीस्वच्छता और थर्मल स्क्रीनिंग के इंतजाम होने चाहिए।
- एंट्री गेटके साथ-साथ उसके भीतर भी पर्याप्त संख्या में हैंड सैनिटाइजर रखे जाने चाहिए। हर समय फिजिकल डिस्टेंसिंग के मानदंडों, मास्क पहनने और अन्य गाइड लाइन का पालन जरुर होना चाहिए।
- राजनीतिक दलों को उपरोक्त सभी निर्देशों और एसडीएमए से संबंधित दिशा-निर्देश का पालन करना होगा।कोविड संबंधित प्रोटोकॉल और दिशानिर्देशों के किसी भी उल्लंघन के जिम्मेदार आयोजक होंगे।
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