जिंद, रामगढ़ उपचुनाव मतदानों की गिनती जारी, सुरजेवाला पीछे

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 जिंद ,रामगढ़, राजस्थान और रामगढ़ विधानसभा सीट के परिणामों के लिए मतदान की गिनती (Counting)चल रही है। वोटिंग की गिनती की शुरुआत में कांग्रेस पीछे चल रहे हैं। वहीं जेजेपी के दिग्विजय चौटाला आगे है। 

वह तीसरे नंबर पर हैं। वहीं जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) के दिग्विजय चौटाला आगे चल रहे हैं। रामगढ़ में कांग्रेस प्रत्याशी साफिया जुबेर खां ने बीजेपी (सुखवंत सिंह) और बीएसपी (जगत सिंह) पर बढ़त बना ली है। लोकसभा चुनाव से पहले ये आखिरी उपचुनाव थे, इसलिए दोनों सीटों के नतीजे बीजेपी और कांग्रेस समेत सभी राजनीतिक दलों के लिए प्रतिष्ठा की लड़ाई बन गए हैं।

@10:24AM- दूसरे राउंड का हाल-

दिग्विजय चौटाला (जेजेपी)- 7892
डॉ. कृष्ण मिड्ढा (बीजेपी)—6554
रणदीप सुरजेवाला (कांग्रेस)- 3923
उमेद रेढू (आईएनएलडी)– 1365

@10:20AM- दूसरे राउंड में दिग्विजय चौटाला 7892 वोटों से आगे चल रहे हैं। वहीं रामगढ़ में 10 वें राउंड में कांग्रेस की साफिया खां 9320 वोटों से आगे चल रही हैं।

@9.30AM- पहले राउंड में यह है हाल-
दिग्विजय चौटाला (जेजेपी)–3639
डॉ. कृष्ण मिड्ढा (बीजेपी)–2835
रणदीप सुरजेवाला (कांग्रेस)–2169
उमेद रेढू (आईएनएलडी)—992
विनोद आसरी (एलएसपी)–705

@9.26AM- जींद से रणदीप सुरजेवाला पिछड़े, तीसरे नंबर पर पहुंचे। जेजेपी के दिग्विजय चौटाला आगे चल रहे हैं।
@9.00AM- रामगढ़ में कांग्रेस प्रत्याशी साफिर जुबेर खां ने बढ़त बना ली है। वह 9773 वोटों से आगे चल रही हैं।

दोनों उपचुनाव में हरियाणा के जींद की सबसे ज्यादा चर्चा है, जहां 28 जनवरी को हुए बहुकोणीय उपचुनाव में करीब 75 फीसदी मतदान हुए थे। जींद में उपचुनाव भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी), कांग्रेस, इंडियन नैशनल लोकदल (आईएनएलडी) और नवगठित जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) के लिए नाक का सवाल बन चुका है। यहां अगस्त 2018 में आईएनएलडी से दो बार विधायक रहे हरि चंद मिड्ढा के निधन के कारण यह उपचुनाव हुआ था। बीजेपी ने हरि चंद मिड्ढा के बेटे कृष्ण मिड्ढा को अपने टिकट पर मैदान में उतारा तो कांग्रेस ने रणदीप सुरजेवाला को प्रत्याशी बनाया।

खट्टर की राजनीतिक साख की सवाल

इनके अलावा जेजेपी ने अजय चौटाला के छोटे बेटे दिग्विजय चौटाला को उम्मीदवार बनाया। यह चुनाव मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर की राजनीतिक साख, देवीलाल और ओमप्रकाश चौटाला की पारिवारिक विरासत और कांग्रेस की सत्ता में वापसी के सवालों का जवाब देंगे। अगर बीजेपी जींद में जीती तो उसका मनोबल बढ़ेगा, क्योंकि हाल ही में हुए स्थानीय निकाय चुनावों में भी उसे जबरदस्त कामयाबी मिली है। चर्चा यह भी है कि उपचुनाव में अगर बीजेपी जीतती है तो वह लोकसभा के साथ ही हरियाणा में असेंबली चुनावों के लिए आगे बढ़ सकती है।

कांग्रेस के लिए नतीजे इसलिए बेहद अहम

कांग्रेस के लिए नतीजे इसलिए अहम होंगे क्योंकि हाल ही में हिंदी पट्टी के तीन राज्यों में अपनी सरकार बनाने के बाद पार्टी अपनी जीत की सबसे ज्यादा संभावना जिस राज्य से देख रही है, वह हरियाणा ही है। हालांकि क्षेत्रीय दल के तौर पर वहां चौटाला परिवार की पार्टी आईएनएलडी व उससे टूटा धड़ा जेजेपी भी मैदान में होंगे। अगर जींद का नतीजा उसके पक्ष में रहा तो यह जीत आने वाले चुनावों में उसके लिए नया जोश भरेगी।

रामगढ़ का नतीजा सभी दलों के लिए अहम

वहीं राजस्थान की रामगढ़ सीट के नतीजे भी आने हैं। यहां राजस्थान विधानसभा चुनाव से कुछ दिन पहले रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र के बीएसपी प्रत्याशी लक्ष्मण सिंह के निधन के कारण चुनाव स्थगित कर दिए गए थे। रामगढ़ में कांग्रेस ने साफिया जुबेर खां पर भरोसा जताया है, वहीं बीजेपी ने सुखवंत सिंह और बीएसपी ने जगत सिंह को मैदान में उतारा है। इस सीट पर दो महिलाओं सहित 20 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला होगा। दूसरी ओर रामगढ़ का नतीजा कांग्रेस सहित सभी दलों के लिए अहम होगा।

राजस्थान की 200 विधानसभा सीटों में से कांग्रेस के पास फिलहाल 99 सीटें हैं, जबकि एक सीट सहयोगी आरएलडी को मिली है। जादुई आंकड़े से वह एक सीट दूर है। यह सीट पार्टी जीत लेती है तो अपने सहयोगी की बदौलत वह अपने भरोसे सरकार बनाने लायक संख्या जुटा लेगी। वैसे, इस चुनाव में मुकाबला कांग्रेस, बीजेपी व बीएसपी के बीच है। राज्य में दिसंबर में हुए 199 सीटों के चुनाव में बीजेपी ने 73 सीटों, बीएसपी ने छह सीटों पर जीत हासिल की थी।

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