भारतीय चुनाव में अमेरिका की दखल देने की कोशिश, रूस की तरफ से आया चौंकाने वाला बयान

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भारत में लोकसभा चुनाव के बीच रूस की ओर से चौंकाने वाला बयान आया है. रूस ने दावा किया है कि अमेरिका भारत के चुनावों में दखल देने की कोशिश कर रहा है और उसका एक देश के रूप में सम्मान भी नहीं कर रहा है. रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने आरोप लगाया कि अमेरिका भारत में आंतरिक राजनीतिक स्थिति को असंतुलित करने और आम चुनावों को जटिल बनाने की कोशिश कर रहा है.

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पन्नू मामले में पर्याप्त साक्ष्य न होने की बात कही


रूसी प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने पन्नू केस में अमेरिका को लताड़ लगाई और भारत के पक्ष में बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि अमेरिका ने भारत पर लगाये गये आरोपों को लेकर एक भी सबूत पेश नहीं किया है. प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने कहा है कि वॉशिंगटन में भारत की राष्ट्रीय मानसिकता और इतिहास की समझ का अभाव है, क्योंकि अमेरिका धार्मिक स्वतंत्रता के बारे में निराधार आरोप लगाता रहता है. बता दें कि भारत ने भी अमेरिका पर आरोप लगाया था कि उसे भारत के आंतरिक मामलों की सामान्य जानकारी भी नहीं है.

ब्रिटेन के प्रधानमंत्री को भी दिया जवाब

ऋषि सुनक जब ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बने थे तब कई भारतियों का मानना था कि यह ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री विन्सटन चर्चिल को करारा जवाब है, जिन्होंने भारत की आजादी पर कहा था कि भारतीय सभ्य नहीं होते हैं और वह देश नहीं चला पाएंगे. वहीं एक भारतीय मूल का पीएम ब्रिटेन को चला रहा है जिसपर भारतीयों ने काफी खुशी जाहिर की थी. हालांकि प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने दूसरे विश्व युद्ध में युद्धविराम सें सबंधित एक ट्वीट को रिट्वीट करते हुए लिखा है कि पूरी दुनिया चर्चिल की कर्जदार है. उन्होंने यूरोप को नाजी जर्मनी से बचाने का काम किया था. इसका जवाब देते हुए रूसी प्रवक्ता ने कहा कि नाजी जर्मनी को अगर कोई देश ने हराने का काम किया था तो वह यूएसएसआर था. बता दें कि रूस पर जंग के ऐलान के बाद ही हिटलर की सेना को भारी नुकसान उठाना पड़ा जिसके चलते उसे हार का सामना करना पड़ा था. वहीं सुनक को घेरते हुए उन्होंने कहा है कि वह चर्चिल की सोच जो भारत के प्रति थी उसपर क्या प्रतिक्रिया देंगे. बता दें कि चर्चिल ने भारतियों के खिलाफ कई नस्लभेदी टिप्पणी की थी. वहीं बंगाल में जब आकाल पड़ा था तब उन्होंने ही भारतियों के अनाजों का निर्यात ब्रिटिश सैनिकों के लिये किया था.

भारत के पक्ष में क्यों बोल रहा है रूस

रूस ने भारत के पक्ष में कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर बयान दिया है. लेकिन रूस भारत के पक्ष में अचानक क्यों बयान दे रहा है. निसंदेह भारत के लोगों के बीच रूस अपनी साफ्ट पावर को बढ़ाना चाहता है, साथ ही यूक्रेन के साथ युद्ध में उसे भारत की डिप्लोमेटिक तौर पर जरूरत पड़ेगी. बता दें कि यूक्रेन जंग को लेकर दुनिया के कुछ देशों ने ही रूस का विरोध नहीं किया है, जिसमें से भारत और चीन दो ऐसे बड़े देश हैं जिन्होंने रूस के खिलाफ खुलकर बयान नहीं दिया है. वहीं वर्तमान में देखा जाए तो पश्चिम देशों से रूस के सारे संबंध टूट चुके हैं. वहीं भारत रूस के लिये बेहद अहम देश है. वहीं रूस की ओर से ऐसे बयान भारत के लिये भी बेहद उपयोगी साबित हो सकते हैं. बता दें कि रूस का अभी भी दुनिया के कई देशों में खासा प्रभाव है, जिसके कारण भारत को इसका भरपूर फायदा मिलने की संभावना है. आगे भी रूस की तरफ से ऐसे बयान दिये जा सकते हैं.

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