यूपी को ‘एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस सेवा’ की सौगात
अखिलेश यादव जिस एंबुलेंस सेवा का प्रचार करते नहीं थकते थे। अब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अखिलेश को इस मामले में भी पीछे छोड़ दिया है। यूपी सरकार ने क्रिटिकल मरीजों के लिए नई एंबुलेंस सेवा शुरु की है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 5 कालिदास मार्ग पर एएलएस यानी ‘एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस सेवा’ को हरी झंडी दिखाई।
सीएम ने एंबुलेंस सेवा को दिखाई हरी झंडी
इस मौके पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश के सभी जिलों को दो-दो एंबुलेंस उपलब्ध कराया जाएगा। जिसमें सभी आधुनिक सुविधाएं होंगी। उन्होंने बताया कि इस एंबुलेंस में ICU जैसी सुविधाएं होंगी ताकि दूर-दराज के मरीजों को सही तरीके अस्पताल तक पहुंचाया जा सके। इसके साथ ही सीएम योगी ने बताया कि इस काम के लिए रकम केंद्र सरकार देगी, इसे सुचारू रूप से लागू करना राज्य सरकार की जिम्मेदारी होगी। उन्होंने कहा कि ये योजना चाहती तो पिछली सरकार ही लागू कर सकती थी, लेकिन इच्छाशक्ति में कमी की वजह से संभव नहीं हो सका।
75 जिलों के लिए 150 एएलएस
पहले चरण में 150 एंबुलेंस प्रदेश के 75 जिलों को दी गई है। खास बात यह है कि ये कि एंबुलेंस आधुनिक उपकरणों से लैस होगी और क्रिटिकल केयर के लिए अपने आप में एक चलता-फिरता आइसीयू होगी।
सीएम ने कहा, प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का अभाव है, इसे देखते हुए केंद्र से ये सुविधा मिली। हालांकि इसके बावजूद राज्य ने इसका लाभ नहीं उठाया। योगी ने पिछली अखिलेश यादव सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि, राज्य सरकार ने केंद्र सरकार से इन योजनाओं के लिए पैसा इसलिए नहीं लिया, कि कहीं मोदी जी को क्रेडिट ना मिल जाए।
पिछली सरकार पर सीएम का हमला
यूपी में मुख्यमंत्री का पद संभालने के बाद से ही ताबड़तोड़ बैठकें कर रहे योगी आदित्यनाथ ने कहा, ‘हमारी बैठकों में कई चीज़े निकल कर आईं, जो हम अमल में लाए। लोगों ने सोचा कि हम तेजी से काम कर रहे हैं, लेकिन सरकार को ऐसी ही तेज़ी से काम करना चाहिए.’ उन्होंने विरोधियों पर तंज कसते हुए कहा, लोगों ने सोचा कि किसानों का कर्ज माफ किया तो इसका बोझ जनता पर ही आएगा, लेकिन ऐसा नहीं होगा। हम सरकार की फ़िज़ूल खर्च और जहां कहीं भी चोरी हो रही होगी उसे बंद करेंगे तो खर्च का अपने आप बंदोबस्त हो जाएगा।
एंबुलेस केंद्र की NRHM के तहत चलाई जाएगी
अपनी इस नई एम्बुलेंस सेवा के बारे में बताते हुए सीएम योगी ने कहा, इस सेवा के अंतर्गत कुल 250 एम्बुलेंस उपलब्ध कराएंगे। स सभी एम्बुलेंस में किसी भी तरह की खराबी हुई तो उसकी भी जवाबदेही तय होगी। उन्होंने ने बताया कि ये एंबुलेस केंद्र की NRHM के तहत चलाई जाएगी।
अखिलेश सरकार का ड्रीम प्रोजेक्ट थी 108 और 102 एंबुलेंस सेवा
आपको बता दें कि पिछली अखिलेश सरकार की ड्रीम प्रोजेक्ट रही समाजवादी एंबुलेंस 102 और 108 योजना से चुनाव आयोग ने ही चुनाव के दौरान ‘समाजवादी’ शब्द हटवा दिया था। समाजवादी पार्टी की सरकार में 108 और 102 एंबुलेंस चलाई गई थी, ताकि आम आदमी को समय पर चिकित्सा सेवा मिल सके और कोई भी व्यक्ति इलाज के अभाव में दम न तोड़े।
योगी सरकार की नई एंबुलेंस सेवा में क्या विशेषता है आपको बताते हैं।
क्या है एएलएस सेवा ?
हर जिले को दो-दो एंबुलेंस दी जाएंगी
यह निशुल्क सेवा केवल क्रिटिकल पेशेंट्स को मिलेगी
हर मुख्यालय में उपलब्ध होगी या एंबुलेंस एक हस्पताल से दूसरे अस्पताल ले जाने का काम करेगी
इसके उपयोग के लिए सीएमओ डायरेक्टर या डॉक्टर से लेनी होगी परमिशन
इससे क्रिटिकल केयर के पेशेंट हार्ट की प्रॉब्लम वाले गंभीर मरीज डिलीवरी के सीरियस पेशंट, नवजात शिशु, या फिर किसी भी अति गंभीर मरीज को को लाभ मिलेगा
एएलएस एम्बुलेंस में इमरजेंसी सेवा एम्बुलेंस के अंदर एक वेंटिलेटर लगाया गया है
वैन के अंदर एक आटोमेटेड एक्सटर्नल डिफेबरीलेटर डिवाइस लगाई गई है
इसमें एक मल्टी पैरा मॉनिटर डिवाइस लगाई गई है
इमरजेंसी में मरीज को दी जाने वाले सभी जरूरी दवाइयां उपलब्ध होंगी