मणिपुर की तरह बंगाल में भी महिला को निर्वस्त्र घुमाया, क्या महिला सुरक्षा पर है बड़ा खतरा ?
देश में महिलाओं का शारीरिक शोषण के साथ अब महिलाओं की आत्मा तक को मारने में लोग पीछे नहीं हट रहे। देश में महिलाओं के आत्मसम्मान और सुरक्षा के हालात कुछ यूं हैं कि एक राज्य में महिलाओं को नग्न घुमाने का वीडियो वायरल होता है। जिसपर पूरे देशवासियों की आत्मा शर्मसार हो जाती है। फिर दूसरे ही दिन दूसरे राज्य से एक ऐसा ही कृत्य वाला वीडियो वायरल होता है। फिर से एक युवती को निर्वस्त्र कर भीड़ के सामने घुमाया जाता है। ये घटनाएं महिलाओं की सुरक्षा का दावा करने वाले जिम्मेदारों के मुँह पर एक तमाचा जैसा है।
मणिपुर के बाद बंगाल में शर्मनाक कृत्य
मणिपुर के बाद अब बंगाल में महिला को निर्वस्त्र घुमाने का मामला सामने आया है। एक ग्राम पंचायत की महिला प्रत्याशी ने तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं पर छेड़छाड़ और शारीरिक रूप से प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है।
8 जुलाई को महिला प्रत्याशी को निर्वस्त्र घुमाया
बंगाल में दोहराई गई यह घटना 8 जुलाई की बताई जा रही है। इसी दिन राज्य में पंचायत चुनाव का मतदान हुआ था। महिला प्रत्याशी का आरोप है कि तृणमूल कार्यकर्ताओं ने उसे निर्वस्त्र कर पूरे गांव में घुमाया। यह घटना हावड़ा जिले के पांचला इलाके की है। मामले में पांचला थाने में एफआइआर दर्ज हो चुकी है।
तृणमूल कार्यकर्ताओं ने सीने पर मारा था डंडा
महिला ने अपनी शिकायत में कहा है कि मुझे तृणमूल के लगभग 40 उपद्रवियों ने मारा-पीटा। मेरी सीने और सिर पर डंडे से वार किया और मुझे मतदान केंद्र से बाहर फेंक दिया गया। एफआइआर की कापी में तृणमूल प्रत्याशी हेमंत राय, नूर आलम, अल्फी एसके, रणबीर पांजा संजू, सुकमल पांजा समेत कई लोगों के नाम हैं।
कार्यकर्ताओं ने महिला के फाड़े थे कपड़े
महिला ने आगे कहा कि उन लोगों ने मेरे कपड़े फाड़ने की कोशिश की और मुझे नग्न होने पर मजबूर किया। सबके सामने मेरे साथ छेड़छाड़ की। मुझे गलत तरीके से छूने की कोशिश की।
घटना पर राजनीति से देश शर्मिंदा
अब इस घटना पर राजनीतिक चर्चा शुरू हो गई है। पक्ष और विपक्ष एक दूसरे पर हमलावर हो चूक हैं। बंगाल भाजपा के सह-प्रभारी अमित मालवीय ने इसे लेकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधा है।उन्होंने ट्वीट किया-‘ ममता बनर्जी को क्या कोई शर्म है? आपके राज्य सचिवालय से कुछ ही दूरी पर यह घटना हुई है। आप एक विफल मुख्यमंत्री हैं और आपको अपने बंगाल पर ध्यान देना चाहिए।
केंद्र को उठाना होगा ठोस कदम
मगर क्या यह संवेदनशील मामला केवल एक दूसरे पर दोषारोपण करने का है। इस तरह की घटनाएं किसी एक एक या दो राज्य से नहीं आती बल्कि अब तेरे देश के किसी भी कोने से आने लगी हैं। केंद्र सरकार को महिलाओं की आत्मीयता से जुड़े मुद्दों पर अब तीखा रवैया अपनाने का समय आ चुका है।
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