यूनियन मिनिस्टर बीएल वर्मा ने खाद्यान्न वाहनों को दिखाई हरी झंडी

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वाराणसी: काशी हिंदू विश्वविद्यालय स्थित एलडी गेस्ट हाउस में मंत्री बीएल वर्मा यूनियन मिनिस्टर फॉर कंज्यूमर अफेयर्स ने पत्रकारवार्ता के दौरान काशी के सांसद और देश के प्रधानमंत्री द्वारा किया जाए कार्यों को गिनाया. उन्होंने कहा कि काशी के सांसद और देश के प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र में पहुंचा हूं और बाबा विश्वनाथ से आशीर्वाद भी लिया हूं.

हरी झंडी दिखा वाहन को किया रवाना…

बता दें कि, बीएल वर्मा ने सिंह द्वार से आठ प्रकार के खाद्यान्न जो 30 वाहनों पर लदे हुए थे को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. बातचीत के दौरान मंत्री ने बताया कि ग्राहकों को सस्ते मूल्य पर उचित राशन और खाद्य सामग्री पहुंचाने का कार्य एनसीसीएफ द्वारा कराया जा रहा है. यहां से आज इन वाहनों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया है जो विभिन्न क्षेत्रों में जाकर लोगों को प्याज, चना, चना की दाल, मूंग दाल,चावल आटा सहित अन्य सामान उपलब्ध कराएंगे.

इसका मुख्य उद्देश्य है कि लोगों को कम दामों पर अच्छी चीज उपलब्ध करना और साथ ही द्वितीय चरण के उपभोक्ताओं को 30 रुपए प्रति किलोग्राम के अधिकतम खुदरा मूल्य (MRP) पर भारत आटा और 34 रुपए प्रति किलोग्राम के अधिकतम खुदरा मूल्य (MRP) पर भारत चावल उपलब्ध कराया जा रहा है. यह पहल उपभोक्ताओं को सब्सिडीयुक्त मूल्यों पर आवश्यक खाद्य वस्तुओं की उपलब्धता सुनिश्चित करने के प्रति भारत सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है.

इतना ही नहीं उन्होंने बताया कि, दूसरे चरण के प्रारंभिक चरण में, खुदरा बिक्री के लिए 3.69 लाख टन गेहूं और 2.92 लाख टन चावल उपलब्ध कराया गया. चरण-1 के दौरान, आम उपभोक्ताओं को सब्सिडीयुक्त दरों पर लगभग 15.20 लाख टन भारत आटा और 14.58 लाख टन भारत चावल उपलब्ध कराया गया.

उपभोक्ताओं को दी जा रही दाल…

भारत चना दाल के दूसरे चरण में, मूल्य स्थिरीकरण बफर (PSF) से 3 लाख टन चना स्टॉक को चना दाल और चना साबुत में परिवर्तित किया जा रहा है, ताकि उपभोक्ताओं को खुदरा बिक्री क्रमशः 70 रुपये प्रति किलोग्राम और 58 रुपये प्रति किलोग्राम की एमआरपी पर की जा सके.

चना के अलावा सरकार ने भारत ब्रांड का विस्तार मूंग और मसूर दालों तक भी किया है. भारत मूंग दाल 107 रुपये प्रति किलो, भारत मूंग साबुत 93 रुपये प्रति किलो और भारत 89 रुपये प्रति किलो पर खुदरा बिक्री हो रही है. इस समय भारत चना दाल की फिर से शुरुआत होने से उपभोक्ताओं को आपूर्ति बढ़ेगी.

प्रथम चरण के दौरान लगभग 12.32 लाख मीट्रिक टन चना दाल सामान्य उपभोक्ताओं को रियायती दरों पर उपलब्ध कराई गई. दूसरे चरण के दौरान लगभग 700 मीट्रिक टन चना दाल और चना साबूत सामान्य उपभोक्ताओं को बिक्री के लिए उपलब्ध कराया गया.

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प्याज़ की स्थिति…

सरकार ने एनसीसीएफ और नैफेड के माध्यम से मूल्य स्थिरीकरण बफर के लिए रबी फसल से 4.7 लाख टन प्याज खरीदा था. सरकार ने 5 सितंबर, 2024 से बफर से प्याज का निपटान शुरू किया और अब तक 1.65 लाख टन का निपटान किया जा चुका है. एनसीसीएफ ने 25 राज्यों में प्याज का निपटान किया है. गति को बढ़ाने के लिए पहली बार रेल रेक द्वारा प्याज के थोक परिवहन को अपनाया गया है. नैफेड और एनसीसीएफ द्वारा दिल्ली, लखनऊ, वाराणसी, गुवाहाटी को रेल रेक द्वारा प्याज की आपूर्ति सफलतापूर्वक की गई है. रेक के माध्यम से लगभग 8000 मीट्रिक टन प्याज भेजा गया है. इससे भारत के विभिन्न क्षेत्रों में प्याज की व्यापक उपलब्धता सुनिश्चित हुई है और उपभोक्ताओं को बहुत ही उचित मूल्य पर इसकी उपलब्धता सुनिश्चित हुई है.

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