बिलकिस बानो को सुप्रीम कोर्ट से झटका, 11 दोषियों की रिहाई मामले की याचिका खारिज
साल 2002 में हुए गुजरात के गोधरा कांड के बाद हुए दंगों की पीड़िता बिलकिस बानो को सुप्रीम कोर्ट से झटका मिला है. सुप्रीम कोर्ट ने बिलकिस बानो के 11 दोषियों की रिहाई के खिलाफ दायर पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया है. दरअसल, बिलकिस बानो ने अपनी याचिका में 11 दोषियों को रिहा करने के फैसले को चुनौती दी थी और मई 2022 के फैसले पर पुनर्विचार करने की गुहार लगाई थी.
Supreme Court dismisses the plea of Bilkis Bano seeking review of its earlier order by which it had asked the Gujarat government to consider the plea for the remission of convicts under 1992 policy. pic.twitter.com/5NAGg9mvvl
— ANI (@ANI) December 17, 2022
दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने उस फैसले में कहा था कि गुजरात सरकार के पास 11 दोषियों की क्षमा आवेदनों पर फैसला करने का अधिकार है, भले ही मुकदमा महाराष्ट्र में किया गया था. याचिका खारिज होने से पहले इस मामले पर त्वरित सुनवाई की मांग पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि आप बार-बार एक ही मामले की मेंशनिंग मत करिए. यह बहुत परेशान करने वाला है.
बता दें पीड़िता बिलकिस बानो ने 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था और सभी दोषियों को फिर से जेल भेजने की मांग की थी. इससे पहले बिलकीस बानो की याचिका पर सुनवाई से जस्टिस बेला एम त्रिवेदी ने खुद को अलग कर लिया था.
इससे पहले बिलकिस बानो ने कहा था कि वो और उनके परिवार के 7 लोगों से जुड़े हत्या मामले में उम्रकैद की सजा काट रहे 11 दोषियों की समयपूर्व रिहाई ने न्याय पर उनके भरोसे को तोड़ दिया है. बिलकिस बानो गैंगरेप और उनके परिवार के 7 सदस्यों की हत्या के मामले के दोषी सभी 11 लोगों को भाजपा नीत गुजरात सरकार ने माफी नीति के तहत सजा माफी दे दी थी, जिसके बाद 15 अगस्त को उन्हें गोधरा उप-कारागार से रिहा कर दिया गया.
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