“संसद में उठाएंगे पेपर लीक का मुद्दा”, राहुल गांधी बोले- शिक्षा प्रणाली पर RSS का कब्जा
नीट और उसके बाद यूजीसी नेट परीक्षा का पेपर लीक होने के बाद पूरे देश में सियासी हंगामा मचा हुआ है. विपक्ष सरकार पर जमकर हमलावर हो रहा है. इसी बीच कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने गुरुवार (20 जून) को कहा कि वे पेपर लीक के मामले को संसद में उठाएंगे. इस दौरान उन्होंने ये भी कहा कि जब वे भारत जोड़ो न्याय यात्रा निकाल रहे थे, तब मणिपुर से लेकर महाराष्ट्र तक सैकड़ों युवाओं ने पेपर लीक का मसला उनके सामने रखा था.
शिक्षा प्रणाली पर RSS का कब्जा
पेपर लीक की घटनाओं को राहुल गांधी ने एंटी नेशनल एक्टिविटी कहा है. उन्होंने कहा कि दावा यहां तक किया गया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस-यूक्रेन युद्ध को रोक दिया, लेकिन ऐसा कैसे है कि वह भारत में पेपर लीक को रोकने में सक्षम नहीं हैं. पेपर लीक के पीछे का कारण यह है कि शिक्षा प्रणाली पर भाजपा के मूल संगठन (आरएसएस) का कब्जा हो गया है. जब तक इसे वापस नहीं लिया जाएगा, पेपर लीक होते रहेंगे.
एनटीए की विश्वसनीयता शून्य है
विभिन्न परीक्षाएं आयोजित करने वाली नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) पर राहुल गांधी ने कहा एनटीए की कोई विश्वसनीयता नहीं है. यदि इन मामलों में केंद्र सरकार एनटीए को क्लीन चिट देती है तो इसका कोई मतलब नहीं है. एनटीए की विश्वसनीयता शून्य है. शिक्षा प्रणाली पर एक संगठन का कब्जा हो गया है. वे हर पद पर अपने लोगों को बिठाते हैं. इसे पलटना होगा.
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यूजीसी नेट रद्द किए जाने पर राहुल गांधी ने कहा कि पेपर लीक के बाद कार्रवाई करना एक बात है. लेकिन, पेपर लीक से पहले जो प्रणालियां थी, विश्वविद्यालय की परीक्षाओं के नियम, उनका पुनर्मूल्यांकन, अध्ययन और पुन: डिज़ाइन करना होगा. ये बातें हमने अपने घोषणा पत्र में लिखी हैं और विपक्ष सरकार पर दबाव बनाकर ये बातें करवाने की कोशिश करेगा. अब यह स्पष्ट है कि हम एक आपदा पर बैठे हैं और हमारे पास एक ऐसी सरकार है, जो अपंग है. यह एक गहरा राष्ट्रीय संकट है.