जम्मू एवं कश्मीर पुलिस ने सोमवार को अलगाववादियों को बीते सप्ताह राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) द्वारा मारे गए छापे के परिणामों पर चर्चा के लिए सोमवार को बैठक करने की अनुमति नहीं दी।
पुलिस का एक बड़ा दस्ता और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवानों को हैदरपोरा में वरिष्ठ अलगाववादी नेता सैयद अली गिलानी के निवास के बाहर तैनात किया गया, ताकि अंदर किसी को जाने से रोका जा सके।
मीरवाइज उमर फारूक को शहर के बाहरी इलाके में उनके निगीन निवास में नजरबंद रखा गया, जबकि जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के प्रमुख मोहम्मद यासीन मलिक को बैठक में भाग लेने से रोकने के लिए गिरफ्तार किया गया।
अलगाववादियों ने सोमवार सुबह 11 बजे बैठक बुलाई थी, जिसमें एनआईए द्वारा बीते सप्ताह अलगाववादियों और श्रीनगर के कुछ व्यापारियों के यहां मारे गए छापे के परिणामों पर चर्चा की जानी थी।
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अलगाववादी नेताओं नईम खान, फारूक अहमद डार और गाजी जावेद बाबा द्वारा कश्मीर में अशांति फैलाने के लिए पाकिस्तान से धन लेने की बात कबूले जाने का खुलासा इंडिया टूडे टीवी न्यूज चैनल ने किया था। इसके बाद एनआईए ने मामले की जांच के लिए प्राथमिकी दर्ज की थी।
एनआईए ने श्रीनगर और जम्मू शहर में रविवार को छापे मारे थे। इस संबंध में कुछ छापे बीते सप्ताह दिल्ली में भी मारे गए थे।
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