बॉर्नविटा को राष्ट्रीय आयोग का नोटिस, ड्रिंक में शक्कर होने का आरोप…. जानें क्या है मामला

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वाराणसी: देश के लगभग सभी घरों में बच्चों को हेल्थ ड्रिंक देने का एक ट्रेंड सा चल रहा है. बच्चें साधारण तोर पर इसे बड़ा चाओ से अपनाते है. इसमें बच्चों का सबसे पहले फेवरेट माना जाने वाला हेल्थ पाउडर ड्रिंक बोर्नविटा आता है. लेकिन क्या आपको पता है बच्चों की सेहत बढ़ने का दवा करने वाली बॉर्नविटा में शक्कर होने का आरोप लगाते हुए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (NCPCR) ने नोटिस भेजा है. जिसमे उन्होंने कहा कि कंपनी अपना भ्रामक ad तुरंत हटाए.

वहीं, आयोग ने कंपनी से 7 दिन के अंदर उनसे इस मामले में जवाब मांगा है. आईये जानते हैं क्या है पूरा मामला जिसपर ये विवाद हुआ और बात यहां तक आ गई कि बाल मंत्रालय को इसमें दखल देना पड़ा.

नोटिस में क्या कहा गया…

आयोग ने मोंडेलेज इंटरनेशनल को दिये नोटिस में कहा, ‘इस प्रोडक्ट के बारे में आयोग को बताया गया है कि इसमें काफी अधिक मात्रा में चीनी है. साथ ही कुछ ऐसे तत्व हैं जो बच्चों के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकते हैं.’ बाल अधिकार आयोग ने कहा कि बॉर्नविटा FSSAI के दिशानिर्देशों और उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के तहत अनिवार्य डिस्क्लोजर्स दिखाने में विफल रही है. आयोग ने स्नैक्स कंपनी से एक हफ्ते में जवाब मांगा है.

किस कारण से बढ़ा बवाल…

हाल ही में सोशल मीडिया पर एक शख्स ने अपने वीडियो में बॉर्निवीटा पर ज्यादा शुगर कंटेंट इस्तेमाल करने की बात कही थी. उसने कहा था कि हेल्थ पाउडर ड्रिंक अपने मिक्सचर में शुगर, कोको सॉलिड्स और कैंसर को पैदा करने वाले कंटेंट का इस्तेमाल करती है. जो बच्चों के लिए हानिकारक हो सकते हैं. तभी से मामले ने तुल पकड़ना शुरू कर दिया है.

तक़रीबन 100 साल पुरानी है कंपनी

बॉर्नविटा साल 1920 में पहली बार दुनिया में लॉन्च हुआ था. फिर 1948 में ये भारत आया और तब से बच्चों की फेवरेट ड्रिंक बन गया. तब से हर गांव से लेकर शहर के हर घर में इस ड्रिंक ने अपनी एक जगह बना ली.

 

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