दूसरा टेस्ट मैच : फ्रंटफुट पर भारत, बैकफुट पर श्रीलंका

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कप्तान विराट कोहली के लगातार तीसरे और सलामी बल्लेबाज मुरली विजय के लगातार दूसरे शतक और दोनों के बीच तीसरे विकेट की बड़ी शतकीय साझेदारी से भारत ने श्री लंका के खिलाफ तीसरे और अंतिम क्रिकेट टेस्ट के पहले दिन आज यहां चार विकेट पर 371 रन बनाकर अपना पलड़ा भारी रखा। दिन का खेल खत्म होने पर रोहित शर्मा छह रन बनाकर कोहली का साथ निभा रहे थे।

कोहली ने 186 गेंद में 16 चौकों की मदद से 156 रन की नाबाद पारी खेलने के अलावा विजय (267 गेंद में 155 रन, 13 चौके) के साथ तीसरे विकेट के लिए 283 रन की साझेदारी भी की। यह पहला मौका है जब भारत में दो बल्लेबाज टेस्ट क्रिकेट में किसी दिन के खेल के दौरान 150 से अधिक रन बनाने में सफल रहे। पहले और अंतिम सत्र की आंशिक सफलता को छोड़ दिया जाए तो श्री लंका के गेंदबाजों को दिन के खेल के दौरान अधिकांश समय जूझना पड़ा। भारत ने पहले सत्र में 27 ओवर में दो विकेट पर 116, दूसरे सत्र में 30 ओवर में बिना विकेट खोए 129 जबकि तीसरे और अंतिम सत्र में 33 ओवर में दो विकेट पर 126 रन जोड़े।

श्री लंका को बाएं हाथ के चाइनामैन स्पिनर लक्षण संदाकन (110 रन पर दो विकेट) ने अंतिम ओवरों में वापसी दिलाई। लाहिरु गमागे (68 रन पर एक विकेट) और ऑफ स्पिनर दिलरुवान परेरा (97 रन पर एक विकेट) ने भी एक-एक विकेट हासिल किया। संदाकन की गेंदबाजी में हालांकि अनुशासन की कमी दिखी और उन्होंने छह नो बॉल फेंकीं।

कोहली ने बल्लेबाजी के लिए अनुकूल दिख रही फिरोजशाह कोटला की पिच पर टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया लेकिन सुबह के सत्र में सलामी बल्लेबाज शिखर धवन (23) और चेतेश्वर पुजारा (23) के विकेट जल्दी गंवा दिए। इन दोनों को मलाल होगा कि वे जमने के बाद बडी पारी खेलने में नाकाम रहे। कोहली और विजय ने हालांकि इसके बाद मेहमान टीम के गेंदबाजों को 65.4 ओवर तक सफलता से महरुम रखा। ये दोनों बल्लेबाज श्री लंका के गेंदबाजों पर पूरी तरह से हावी होकर खेले।

भारत को विजय और धवन की जोड़ी ने सकारात्मक शुरुआत दिलाई। विजय ने सुरंगा लकमल के पहले ही ओवर में लगातार दो चौकों के साथ खाता खोला जबकि धवन ने भी इस तेज गेंदबाज पर चौका मारा। धवन ने दिलरुवान परेरा पर भी दो चौके मारे लेकिन इसी ऑफ स्पिनर का 100वां टेस्ट शिकार बने। परेरा की गेंद को स्वीप करने की कोशिश में धवन हवा में खेल गए और लकमल ने डीप बैकवर्ड स्क्वायर पर कैच लपका। इस दौरान लकमल का जूता भी निकल गया लेकिन उन्होंने कैच पकड़ने में कोई गलती नहीं की।

नागपुर में दूसरे टेस्ट में 128 रन की पारी खेलने वाले विजय इससे पहले 12 रन के निजी स्कोर पर भाग्यशाली रहे जब लकमल की गेंद उनके बल्ले का किनारा लेकर तीसरी स्लिप और गली के बीच से चार रन के लिए चली गई। विजय और पुजारा ने 13वें ओवर में भारत का स्कोर 50 रन के पार पहुंचाया। पुजारा ने सतर्क शुरुआत के बाद परेरा पर दो चौके मारे जबकि लाहिरु गमागे और लक्षण संदाकन की गेंद को भी बाउंड्री के दर्शन कराए। वह हालांकि जब अच्छी लय में दिख रहे थे तब श्री लंका के जाल में फंस गए। गमागे ने पुजारा के लिए लेग स्लिप लगाई थी और भारतीय बल्लेबाज ने पैड पर आई इस तेज गेंदबाज की गेंद पर वहीं सदीरा समरविक्रम को कैच थमा दिया। इस समय टीम का स्कोर दो विकेट पर 78 रन था।

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लंच के बाद कोहली और विजय श्री लंकाई गेंदबाजों पर पूरी तरह हावी रहे। कोहली लकमल पर चौके के साथ 25 रन के आंकड़े को छूते ही टेस्ट क्रिकेट में 5000 रन पूरे करने वाले 11वें भारतीय बल्लेबाज बने। उन्होंने 105वीं पारी में यह उपलब्धि हासिल की। भारत के लिए कोहली से कम पारियों में 5000 टेस्ट रन सुनील गावस्कर (95), वीरेंदर सहवाग (99) और सचिन तेंडुलकर (103) ही बना पाए हैं।

कोहली ने गमागे के ओवर में तीन चौकों के साथ सिर्फ 52 गेंद में अर्धशतक पूरा किया। यह टेस्ट क्रिकेट में उनका सबसे तेज अर्धशतक है। कोहली ने विजय के साथ मिलकर 46वें ओवर में टीम का स्कोर 200 रन के पार पहुंचाया। विजय ने संदाकन पर कवर डाइव से चौके के साथ 163 गेंद में लगातार दूसरा शतक और करियर का 11वां शतक पूरा किया।

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