कार्तिक मास में हर साल शुक्ल पक्ष की प्रतिपादित को गोवर्धन पूजा का पर्व मनाया जाता है। गोवर्धन पूजा के दिन भगवान गोवर्धन की पूजा की जाती है इस दौरान गिरिराज जी के साथ ही भगवान श्री कृष्ण की भी पूजा करने का विधान है। भारत के कई राज्यों में गोवर्धन पूजा को अन्नकूट भी कहा जाता है।
आपको बता दें कि हिंदू धर्म में गोवर्धन पूजा का विशेष महत्व होता है इस दिन की गई पूजा भगवान श्री कृष्ण को समर्पित होती है। इस दिन गोवर्धन परिक्रमा करने की भी मानता है कहा जाता है कि इस दिन भगवान कृष्ण को छप्पन भोग लगाने की भी परंपरा साथी गोवर्धन पर्वत के साथ-साथ भगवान कृष्ण के अलावा गौ माता की भी पूजा की जाती है ऐसा करने से भगवान श्री कृष्ण का आशीर्वाद प्राप्त होता है। लेकिन इस बार गोवर्धन पूजा को लेकर कुछ संशय बना हुआ है|
तो आईए जानते हैं कब है गोवर्धन पूजा और क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त…
इस साल गोवर्धन पूजा को लेकर बड़ी ही असमंजस की स्थिति बनी हुई है कि गोवर्धन पूजा 13 नवंबर यानि आज या कल मनाई जाएगी। तो बता दे की हर साल दिवाली के अगले दिन गोवर्धन पूजा का पर्व मनाया जाता है लेकिन इस बार सोमवती अमावस्या होने के कारण गोवर्धन पूजा का पर्व 13 नवंबर नहीं बल्कि 14 नवंबर को मनाया जाएगा क्योंकि हिंदू शास्त्र में उदयाति टू का महत्व होता है इसलिए उदय अतिथि 14 नवंबर को है तब गोवर्धन पूजा 14 नवंबर को मनाई जाएगी।
लखनऊ : दिवाली की रात पीएसी जवान की गोलियों से भुनकर हत्या
गोवर्धन पूजा का शुभ मुहूर्त
गोवर्धन पूजा की तिथि आज 2:56 से शुरू होकर कल्याणी 2:36 तक रहेगी। हिंदू धर्म में उदयाति का महत्व है इसलिए 14 नवंबर को गोवर्धन पूजा का पर्व मनाया जाएगा वहीं कुछ जगहों पर 14 नवंबर को भाई दूज मनाया जाएगा तो कुछ जगह 15 नवंबर को भी भाई द्वीप का पर्व मनाया जाएगा। 14 नवंबर को 2:00 बजे के बाद भाई दूज की तिथि शुरू जाएगी इस प्रकार गोवर्धन पूजा और भाई दूज का पर एक ही दिन मनाया जाएगा।
क्या है गोवर्धन पूजा का महत्व
धार्मिक मान्यता है कि इस दिन जो भी भक्त भगवान गिरिराज की पूजा करता है उसके घर में सुख समृद्धि बनी रहती है। ऐसा भी मानते हैं कि आज के दिन भगवान गोवर्धन की पूजा करने से जीवन में सारे दुख दर्द दूर हो जाते हैं और इसके अलावा मां लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होता है।