राजपुरा में उग्र हुए किसान, कई बीजेपी नेताओं को बनाया बंधक; नेताओं को छुड़ाने के लिए लाठीचार्ज

राजपुरा

पंजाब के राजपुरा में किसानों द्वारा भाजपा नेताओं को बंधक बनाने के बाद रातभर भारी तनाव का माहौल रहा। पुलिस के लिए स्थिति पर काबू पाना बेहद चुनौती पूर्ण हो गया। इससे राजपुरा जैसे जंग स्‍थल सा बन गया। रविवार को भाजपा नेताओं की बैठक हो रही थी। इस बैठक में पंजाब भाजपा के महासचिव सुभाष शर्मा और भाजपा नेता भूपेश अग्रवाल सहित कई वरिष्ठ नेता मौजूद थे। किसान संगठनों को इसके बारे में पता चला तो बड़ी संख्या में किसान वहां पहुंच गए।

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इसके बाद उग्र प्रदर्शनकारियों ने राजपुरा में भाजपा नेता के घर को घेर लिया और नारेबाजी करने लगे। प्रदर्शनकारियों ने भाजपा नेता के आवास की बिजली भी काट दी और पथराव किया। इस दौरान भारी संख्‍या में पुलिस भी पहुंच गई। भाजपा नेताओं ने पुलिस पर मूकदर्शक बने रहने का आरोप भी लगाया। उनका कहना था कि पुलिस ने प्रदर्शनक‍ारियों को रोकने और वहास से हटाने का कोई प्रयास नहीं किया।

कड़ी मशक्कत के बाद पुलिस ने छुड़ाया

किसानों ने बीजेपी नेताओं को बंधक बना लिया था. वह उन्हें आवास से बाहर नहीं निकलने दे रहे थे. जिसके बाद बीजेपी ने रात में ही पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया. रात करीब साढ़े बारह बजे कोर्ट ने पुलिस को आदेश दिया कि सभी नेताओं को सुरक्षित बाहर निकाला जाए. किसी को भी कोई नुक्सान नहीं होना चाहिए. इसके साथ ही प्रशासन से आज दोपहर 2 बजे तक इस मामले पर रिपोर्ट भी मांगी गई है.

उग्र हुए प्रदर्शकारी किसान

वहीं हाई कोर्ट के आदेश के बाद पुलिस ने नेताओं को निकाला तो किसानों व पुलिस में जबरदस्त भिड़ंत हो गई। इतना ही नहीं प्रदर्शनकारियों ने मकान की छत से गमले फेंकने शुरू कर दिए। इससे नीचे सुरक्षा में खड़ा कमांडो गंभीर घायल हो गया। उसे उपचार के लिए अस्पताल दाखिल करवाया गया I गुस्साए प्रदर्शनकारियों ने पुलिस की गाड़ियों के शीशे भी तोड़ डाले। कड़ी मशक्कत के बाद पुलिस भाजपा नेताओं को छुड़ाकर ले गई। लेकिन रातभर माहौल तनावपूर्ण बना रहा। हाई कोर्ट ने आज 2 बजे तक प्रशासन से कार्रवाई रिपोर्ट पेश करने को कहा है।

एडीजीपी ला एंड आर्डर पहुंचे

किसान नेताओं को समझाने के लिए एडीजीपी ला एंड आर्डर खुद पहुंचे, लेकिन किसान पीछे हटने को बिल्कुल ही तैयार नहीं थे। रात करीब पौने तीन बजे किसान नेता भाजपा नेताओं से बैठक के लिए राजी हो गए। डीसी 12 किसान नेताओं को भाजपा नेताओं के साथ बैठक करने के लिए अंदर ले गए। वहीं, किसानों ने आसपड़ोस के घरों की छतों पर भी डेरा जमाया हुआ था, ताकि कोई भी पीछे से न निकल सके। बंधक लोगों में तीन महिलाओं, दो बच्चों सहित 17 लोग शामिल थे।

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