राज्यसभा में सबसे बड़ी पार्टी बनी भाजपा
यूपी समेत सात राज्यों में राज्यसभा की 25 सीटों में 12 सीटें जीत बीजेपी ने देश के उच्च सदन में भी अपनी स्थिति मजबूत कर ली है। संख्याबल के लिहाज से बीजेपी राज्यसभा की सबसे बड़ी पार्टी बन गई है और कुछ क्षेत्रीय दलों की मदद से आसानी से बहुमत के आंकड़े तक पहुंच सकती है। ऐसे में अब बीजेपी के सामने उच्च सदन से किसी बिल को पास कराने के लिए पहले जैसी टेंशन नहीं रही।
किसी भी बिल को पास कराने के लिए नहीं करनी पड़ेगी मशक्कत
बीजेपी और बहुमत के बीच का यह फासला और घटेगा क्योंकि तीन मनोनीत सांसदों का कार्यकाल खत्म हो रहा है और इनकी जगह नए लोग मनोनीत होंगे। ऐसे में मोदी सरकार के लिए गैर-एनडीए और गैर-यूपीए दलों से मुद्दे पर आधारित समर्थन हासिल करना आसान होगा। निर्दलीय और मनोनीत सदस्यों का समर्थन मिलने के बाद मोदी सरकार के लिए अपने मनचाहे बिलों को पास कराने में कोई खास परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
Also Read : भाजपा की जीत के पीछे छिपा है ‘ये गणित’
लोकसभा में 315 सांसद बीजेपी के
लोकसभा में बीजेपी अकेले दम पर बहुमत में है। एनडीए के सहयोगियों के साथ 540 सदस्यीय लोकसभा में इसकी सदस्य संख्या 315 है। शुक्रवार को रिजल्ट आने के बाद यह साफ हो गया है कि एनडीए को अगर एआईएडीएमके, टीआरएस, वाईएसआर कांग्रेस और बीजेडी जैसी पार्टियों का समर्थन मिल जाता है तो बहुमत के आंकड़े यानी 123 को हासिल करना कठिन नहीं होगा। हालांकि 2019 में ओडिशा में बीजेपी बीजेडी की प्रतिद्वंद्वी है लेकिन पार्टी पहले के कुछ मौकों पर केंद्र सरकार को नीतिगत समर्थन देती आई है।
3 राज्यसभा सदस्यों का खत्म हो रहा है कार्यकाल
हालांकि आंकड़े यह भी बता रहे हैं कि अभी राज्यसभा में 115 सदस्यों (यूपीए, लेफ्ट और तृणमूल) की तरफ से सरकार को कड़ी चुनौती मिलती रहने वाली है। सरकार के पास 3 सदस्यों के कार्यकाल खत्म होने पर नए सदस्यों को मनोनीत करने का अधिकार है। माना जा रहा है कि ये तीन सदस्य भी सरकार का ही समर्थन करेंगे। निर्दलीय सदस्यों के भी सरकार के साथ ही आने की संभावना है। सरकार अहम मुद्दे पर अपने पूर्व सहयोगी इंडियन नैशनल लोक दल से भी बात कर सकती है जिसके पास राज्यसभा की एक सीट है।
नवभारत टाइम्स