बीएचयूः छेड़खानी के आरोपितों की अबतक गिरफ्तारी नहीं, बिफरे छात्रों ने फिर किया प्रदर्शन
वाराणसी: आईआईटी बीएचयू में बीते 1 नवंबर को छात्रा के साथ छेड़खानी के आरोपितों को पुलिस अभी तक गिरफ्तार करने में असफल रही है. इसको लेकर बिफरे छात्रों ने बुधवार को जहां प्रदर्शन किया वहीं लाइब्रेरी मार्ग में आईआईटी बीएचयू के डायरेक्टर ऑफिस के बाहर धरने पर बैठ गए. सुबह 10 बजे छात्र-छात्राएं पोस्टर-बैनर के साथ प्रदर्शन करने उतरे. सड़क पर ही नोट्स, लैपटॉप और मोबाइल फोन से पढ़ाई कर रहे हैं. छात्रों ने अपनी कक्षाओं का बहिष्कार कर दिया है. उनका कहना है कि जब तक आरोपित पकड़े नहीं जाएंगे, तब तक सड़क पर बैठकर ऐसे ही इंजीनियरिंग की पढ़ाई होगी. छात्राएं पूछ रही हैं कि आरोपित आखिर कब पकड़े जाएंगे.
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पुलिस के रवैये को लेकर उठाए सवाल
आईआईटी बीएचयू स्टूडेंट्स पार्लियामेंट ने अभी तक आरोपितों की गिरफ्तारी न होने पर नाराजगी जाहिर की है. प्रदर्शनकारी छात्रों ने बताया की वे न्याय के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं. पुलिस की गतिविधि मौजूदा केस के प्रति संदिग्ध है. छात्रों का मानना है, पुलिस की तरफ से कुछ गलतियां हो रही हैं. बार-बार स्टेटमेंट बदला जा रहा है. उन्हें संदेह है कि कुछ गड़बड़ी हो रही है. पुलिस सख्ती से काम नहीं कर रही है. उन्हें नहीं पता पुलिस क्या करना चाहती है या पुलिस आरोपितो का बचाना चाहती है.
पुलिस के हाथ खाली
सीसीटीवी कैमरों की फुटेज, सर्विलांस और मुखबिरों की मदद से पड़ताल कर रही पुलिस अभी तक आरोपितों को चिह्नित भी नहीं कर पाई है. जिससे छात्र आक्रोशित हैं. वहीं कुछ छात्रों के अनुसार आरोपितों की गिरफ्तारी के सवाल पर पुलिस का कहना है कि तीनों को एक साथ पकड़ा जाएगा. उन्हें एक-एक करके नहीं पकड़ सकते. एसे निराधार जवाबों के कारण छात्रों को फिर से प्रदर्शन करने का फैसला लेना पड़ा.
छात्रों ने रखी ये 10 मांगे
आरोपितों की गिरफ्तारी और सख्त कार्रवाई के अलावा छात्रों की ये 10 मांगे हैं-
- बीएचयू परिसर में छात्राओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए.
- परिसर में महिलाओं से दुर्व्यवहार के दोषियों पर कठोर कार्रवाई हो.
- परिसर में प्रत्येक स्थान पर सीसीटीवी और प्रकाश व्यवस्था पर्याप्त हो.
- चहारदीवारी के विषय पर जिला प्रशासन और विवि स्पष्टीकरण दे कि बाउंड्री नहीं बनेगी.
- चहारदीवारी की घोषणा पर जिला प्रशासन माफी मांगे.
- आईआईटी को बीएचयू के प्रशासनिक नियंत्रण में लाया जाए.
- रात्रि दस बजे के बाद बाहरियों का प्रवेश सीमित हो. अस्पताल से आगे बिना कारण न जाने पाएं.
- महिला सुरक्षा के लिए एक अलग महिला सुरक्षाधिकारी प्राक्टोरियल बोर्ड 24 घंटे उपलब्ध रहे.
- महिला विषयक समिति को सक्रिय करें और यह स्वतः संज्ञान लेकर भी मामलों को सॉल्व करें.
- परिसर के आसपास शराब जैसी नशीली चीजों की बिक्री पर रोक लगे.
हांलाकि चहारदीवारी के सवाल पर आईआईटी बीएचयू के छात्रों का कहना है कि वह भी बीएचयू परिसर को बांटने के पक्ष में नही है. कुछ छात्रों ने व्यकितगत तौर पर इसकी मांग की थी.