CM ने किया सिपाही के परिजनों को मुआवजा का ऐलान
उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में आरक्षण की मांग को लेकर निषाद समाज के लोग धरना-प्रदर्शन कर रहे थे। पीएम मोदी की सभा समाप्त होने के बाद शनिवार की शाम एकाएक कठवामोड़ पुल पर जाम लग गया। जाम देख पीएम की सभा से वापस लौट रही करीमुद्दीनपुर थाने की पुलिस जाम समाप्त कराने में जुट गई।
तभी धरने पर बैठे लोगों ने पुलिस पर पथराव कर दिया। इस बीच कई वाहनों के शीशे टूटे। आंदोलनकारियों ने एक पुलिसकर्मी की बेरहमी से पिटाई कर दी, जिससे उसकी मौत हो गई। सीएम योगी ने मामले को संज्ञान लेते हुए पुलिसकर्मी के परिजनों को 40 लाख रुपए देने की घोषणा की है।
इस पथराव में एक पुलिस सिपाही की मौत हो गई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मृत सिपाही के परिजनों को 50 लाख रूपये की आर्थिक सहायता, एक परिजन को नौकरी तथा असाधारण पेंशन दिए जाने के निर्देश दिए हैं।
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गाजीपुर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक यशवीर सिंह ने बताया कि प्रधानमंत्री के कार्यक्रम के कारण राष्ट्रीय निषाद पार्टी के कार्यकर्ता शहर में जगह-जगह प्रदर्शन कर रहे थे जिनको पुलिस प्रशासन ने रोक रखा था। कार्यक्रम समाप्त होने के बाद जब प्रधानमंत्री शहर से चले गए तब पार्टी के कार्यकर्ताओं ने शहर में कई जगहों पर जाम लगा दिया और रैली से लौट रहे वाहनों पर पथराव करने लगे।
शहीद सिपाही सुरेश प्रतापगढ़ के रानीगंज के रहने वाले थे
इस जाम को खुलवाने में जिले के थाना करीमुद्दीन पुर में पदस्थ सिपाही सुरेश वत्स (48) भी लगे हुए थे। पथराव में एक पत्थर सुरेश के सिर में भी लग गया और वह बुरी तरह से जख्मी हो गये। उन्हें तुंरत अस्पताल ले जाया गया लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका।एसएसपी के मुताबिक इस दौरान करीब 15 कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया है और वीडियोग्राफी की मदद से अन्य प्रदर्शनकारियों की पहचान की जा रही है। शहीद सिपाही सुरेश प्रतापगढ़ के रानीगंज के रहने वाले थे।
सीएम ने दुख व्यक्त किया है
उधर लखनऊ में अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी ने एक बयान जारी कर कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सिपाही सुरेश के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उनकी पत्नी को चालीस लाख रूपये तथा उनके माता-पिता के लिये दस लाख रूपये की सहायता देने के निर्देश दिये है।
मुख्यमंत्री ने परिवार के एक सदस्य को नौकरी तथा परिवार को असाधारण पेंशन दिये जाने के भी निर्देश दिये है। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने गाजीपुर के जिलाधिकारी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक को दोषियों को गिरफ्तार कर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश भी दिए है।
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