electricians के सीपीएफ खाते में घोटाला, उच्च स्तरीय जांच की मांग
भिखारीपुर स्थित यूनियन भवन में हुई बैठक, कर्मचारी नेताओं ने मंशा पर उठाए सवाल
वाराणसी में विद्युत परीक्षण खंड चितईपुर कार्यालय के अंतर्गत 30 कर्मचारियों और नगरीय विद्युत वितरण खंड-पंचम इमिलिया घाट के 10 कर्मचारियों के सीपीएफ घोटाले का मामला उजागर हुआ है. इस गंभीर मामले को लेकर विद्युत मजदूर पंचायत उत्तर प्रदेश के प्रतिनिधियों और सदस्यों की गुरुवार को भिखारीपुर स्थित यूनियन भवन में प्रांतीय उपाध्यक्ष आरके वाही की अध्यक्षता में बैठक हुई. इसमें मामले की उच्चस्तरीय जांच के साथ ही जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई.
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वक्ताओं ने बताया कि विद्युत परीक्षण खंड चितईपुर के 30 कर्मचारियों के वर्ष 2013 से 2015 के मध्य छठवें वेतनमान सहित महंगाई भत्ते के एरियर के लाखों रुपये उनके सीपीएफ खाते में जमा नही हुए. नगरीय विद्युत वितरण खंड पंचम इमिलिया घाट के 10 कर्मचारियों के वेतन से दिसम्बर-2014 में सीपीएफ की कटौती हुई है. लेकिन सीपीएफ खातों में जमा नही हुआ. साथ ही वर्ष 2013 से 2017 तक के महंगाई भत्ते और बोनस का एरियर बिना ब्याज लगाए वर्ष 2018-2019 में पोस्ट कर कर्मचारियों के लाखों रुपये का नुकसान कुछ लोगों की गलती से हो रहा है. उन्होंने कहाकि मजे की बात यह है कि इतनी बडी गड़बड़ी को ऑडिट टीम भी नही पकड़ सकी.
सीपीएफ खाते की जांच में मामला हुआ उजागर
वक्ताओं ने बताया कि मामला तब पकड़ में आया जब कर्मचारियों ने अपने-अपने सीपीएफ खाते में जमा धनराशियों की गहराई से जांच- पड़ताल की. प्रांतीय कार्यवाहक महामंत्री डॉक्टर आरबी सिंह एवं प्रांतीय अतिरिक्त महामंत्री ओपी सिंह ने कहा कि वर्ष 2013 से 2024 तक 11 वर्ष में भी एकाउंट विभाग के लोगों और आडिट करनेवाले लोगों ने इस गड़बड़ी को पकड़ने में कैसे चूक कर दी? बैठक में प्रस्ताव पास कर लाखों रुपये कर्मचारियों के सीपीएफ खातों में जमा न करने के मामले की उच्चस्तरीय जांच कराने और दोषियों को दंडित करने की मांग की गई. साथ ही कर्मचारियों के सीपीएफ खातों में 2013 से 2015 की देय तिथियों से एरियर की धनराशि जमा कराकर लेखा पर्ची निर्गत कराए जाने की मुख्य अभियंता से मांग की है. बैठक में ओपी सिंह, अंकुर पांडेय, जीउत लाल, विजय सिंह, गुलाब चंद्र, रमेश चौरसिया, केपी दुबे, अमितानंद त्रिपाठी आदि कर्मचारी नेताओं ने विचार व्यक्त किये. नेताओं ने चेतावनी दी है कि यदि इस मामले में शीघ्र कार्रवाई नही हुई तो आंदोलन के लिए बाध्य होंगे.