जी-20 में पीएम मोदी ने उठाया आतंकवाद का मुद्दा, चीन पाक को घेरा
जर्मनी में जी-20 सम्मेलन में चल रहा है। जहां दुनिया की बीस शक्तियां आतंकवाद, रक्षा, पर्यावरण सहित कई मुद्दों पर चर्चा के लिए इकठ्ठा हुए हैं। शुक्रवार को भारत की ओर से पीएम मोदी ने दुनिया के 20 सबसे शक्तिशाली देशों के मंच से आतंकवाद को लेकर चीन और पाक पर तीखा प्रहार किया। उन्होंने कहा कि आईएस-अलकायदा और लश्कर-जैश का नाम भले ही अलग हो, लेकिन इनकी सोच और चेहरा एक है और ये सिर्फ नफरत और नरसंहार करना जानते हैं।
जी-20 सम्मेलन की प्रांरभिक बैठक में आतंकवाद पर लचर और दोहरे रवैये को दुनिया के बड़े देशों पर तीखा हमला बोला। मोदी ने दो टूक कहा कि आतंकवाद के खिलाफ दुनिया का कमजोर रुख हमें भारी पड़ेगा। चीन और पाकिस्तान जैसे देशों पर निशाना साधते हुए पीएम मोदी ने कहा कि कुछ देश आतंकवाद को राजनीतिक उद्देश्यों के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं। प्रधानमंत्री ने जी-20 देशों से आतंकवाद को फंडिंग, उसे सुरक्षित पनाहगाह, उसके समर्थकों और प्रायोजकों पर एकजुटता से कार्रवाई पर जोर दिया।
वहीं दूसरी ओर जर्मनी के हैम्बर्ग में जी-20 शिखर सम्मेलन के विरोध में हुए प्रदर्शनों में घायल पुलिसकर्मियों की संख्या बढ़कर 197 हो गई है। समाचार एजेंसी एफे के मुताबिक, पुलिस ने शुक्रवार को बताया कि उन्हें हैम्बर्ग के सेंट पाउली में भी हिंसक झड़पों का सामना करना पड़ा है। एनडीआर टेलीविजन नेटवर्क के मुताबिक, प्रदर्शनकारियों ने स्टोर लूट लिए। वीडियो में पुलिस द्वारा प्रदर्शनकारी युवकों पर बलप्रयोग करते देखा जा सकता है। प्रशासन ने राहगीरों एवं प्रदर्शन में शामिल नहीं होने वाले लोगों से प्रदर्शन से दूर रहने को कहा है।
ये प्रदर्शन गुरुवार को ‘वेलकम टू हेल’ मार्च नाम से शुरू हुए थे, जिसमें हजारों की संख्या में हूड पहने कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया। पुलिस ने वाटर कैनन से इन प्रदर्शनकारियों को रोका। जर्मन सरकार ने सम्मेलन और अधिकारियों को सुरक्षा प्रदान कराने के लिए 19,000 पुलिसकर्मियों की तैनाती की।
जर्मनी की चांसलर एवं सम्मेलन की मेजबान एंजेला मर्केल ने इस हिंसा की निंदा की। उन्होंने शुक्रवार को कहा, मैं शांतिपूर्ण प्रदर्शनों की हितकर हूं, लेकिन हिंसक प्रदर्शनों से लोगों के जीवन को खतरा होता है और ये प्रदर्शनकारियों के खुद के लिए भी खतरनाक होते हैं। इससे पुलिसकर्मी से लेकर सुरक्षाकर्मी और स्थानीय नागरिक सभी की सुरक्षा को खतरा रहता है। इसलिए ये प्रदर्शन स्वीकार्य नहीं है।