सनातन को लेकर स्टालिन की विवादित टिप्पणी से बढा सियासी पारा, BJP-VHP और RSS ने क्या दिया जवाब ?
केन्द्र सरकार जहां सनातन को बचाने की मुहिम चला रही है, वही तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि स्टालिन द्वारा सनातन धर्म को लेकर विवादित टिप्पणी सामने आयी है। इसे टिप्पणी में तमिलनाडु सरकार में मंत्री उदयनिधि स्टालिन नें सनातन धर्म को खत्म करने की बात करते हुए कहा है कि, ‘सनातन धर्म डेंगू, मलेरिया की तरह है, इसे खत्म कर देना चाहिए क्योंकि केवल इसका विरोध करने से समस्या का समाधान नहीं होगा।’ स्टालिन द्वारा की गयी इस टिप्पणी पर तमिलनाडु से लेकर दिल्ली तक सियासत गरमायी है।
इस मुद्दे ने चुनाव के दौरान में राजनीतिक माहौल खराब करने का काम किया है । ऐसे में राजनीतिक दलों से मिली जुली प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है, कुछ लोग स्टालिन का समर्थन कर रहे है तो कुछ लोग विरोध कर रहे है। ऐसे में स्टालिन अपने बयान पर कायम है।
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सनातन को लेकर स्टालिन ने की ये टिप्पणी
सनातन उन्मूलन सम्मेलन में शामिल हुए उदयनिधि स्टालिन ने सभा को संबोधित करते हुए कहा था कि, ”सनातन का सिर्फ विरोध नहीं किया जाना चाहिए. बल्कि, इसे समाप्त ही कर देना चाहिए। सनातन धर्म सामाजिक न्याय और समानता के खिलाफ है। कुछ चीजों का विरोध नहीं किया जा सकता, उन्हें खत्म ही कर देना चाहिए। हम डेंगू, मच्छर, मलेरिया या कोरोना का विरोध नहीं कर सकते। हमें इसे मिटाना है, इसी तरह हमें सनातन को भी मिटाना है.”
उन्होंने कहा, ”सनातन क्या है? यह संस्कृत भाषा से आया शब्द है. सनातन समानता और सामजिक न्याय के खिलाफ होने के अलावा कुछ नहीं हैं. सनातन का क्या अभिप्राय है? यह शास्वत है, जिसे बदला नहीं जा सकता, कोई सवाल नहीं कर सकता है और यही इसका मतलब है. उन्होंने आरोप लगाया कि सनातन ने लोगों को जातियों के आधार पर बांटा.”
RSS-VHP स्टालिन के बयान पर दिया ये रिएक्शन
वही स्टालिन के बयान से गरमायी सियासत में इस टिप्पणी को लेकर बयान बाजी का दौर चल पडा है इसको लेकर संघ नेता इंद्रेश कुमार उदयनिधि के बयान पर बोलते हुए कहा कि, ”अपने अपने धर्म पर चलो, दूसरे के धर्म का सम्मान करो. न कि आलोचना करो। बल्कि अच्छा ये होगा दूसरे के धर्म में दखल देने के बजाय धार्मिक कामों में भागीदारी करो।”
वही इस बयान पर वीएचपी ने कहा कि, ‘ऐसे बयानों के गंभीर परिणाम हो सकते हैं. विश्व हिंदू परिषद के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा कि अगर तमिलनाडु सरकार उदयनिधि के बयान से सहमत है तो दक्षिणी राज्य मे केंद्र से लोगों के अपने धर्म का पालन करने के अधिकार की रक्षा करने की अपील की जाएगी’
इंडिया गठबंधन पर शाह ने साधा निशाना
शाह नें स्टालिन के इस बयान को वोटबैंक और तुष्टीकरण की राजनीति के लिए सनातन धर्म का अपमान को राजनीति साजिश करार दिया है। इसको लेकर राजस्थान में चुनावी रैली को संबोधित करते हुए कहा कि, इन लोगों ने वोट बैंक की और तुष्टिकरण की राजनीति करने के लिये सनातन धर्म को समाप्त करने की बात की है. हमारी संस्कृति, हमारे इतिहास और सनातन धर्म का अपमान किया है. उन्होंने कहा, ”मनमोहन सिंह ने कहा था बजट पर पहला अधिकार अल्पसंख्यकों का है, हम कहते हैं कि बजट पर पहला अधिकार गरीबों का, आदिवासियों का दलितों का और पिछडों का है. इन्होंने वोट बैंक की लालच में अल्पसंख्यकों का पहला अधिकार सिद्ध कर दिया.’
शाह ने कहा, ”राहुल गांधी ने कहा जो हिन्दू संगठन हैं वो लश्कर ए तैयबा से भी खतरनाक है. राहुल बाबा आप हिन्दू संगठनो का (आतंकवादी संगठन) लश्कर के साथ तुलना करते हो और आपके गृहमंत्री कहते थे कि हिन्दू आतंक चल रहा है.”
केंद्रीय गृह मंत्री ने इंडिया गठबंधन को घमंडिया गठबंधन बताते हुए कहा, ये गठबंधन वोट बैंक की राजनीति करने के लिये, तुष्टिकरण की राजनीति करने के लिये किसी भी स्तर पर जा सकते हैं. लेकिन मैं उनको बताना चाहता हूं कि वे जितना बोलेंगे, उतने ही कम होते जाएंगे. उन्होंने कहा, ”आज कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष कहते हैं मोदी जी जीतेंगे तो सनातन का राज आयेगा. सनातन का राज लोगों के दिल में है, उसको कोई हटा नहीं सकता और मोदी जी ने कहा है कि यह देश भारत के संविधान के आधार पर चलेगा. मोदी ने देश को सुरक्षित करने का काम किया है.”
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स्टालिन ने सफाई में कही ये बात
सनातन धर्म पर विवादित टिप्पणी करने वाली तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन ने विवाद को तूल पकडता देख सफाई पेश की है । उन्होने कहा है कि, भाजपा के दावे के मुताबिक उन्होंने अपने बयान में कहीं भी नरसंहार का जिक्र नहीं किया है. उन्होंने बस सनातन धर्म की आलोचना की है. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का उदाहरण देकर कहा कि जैसे पीएम मोदी ‘कांग्रेस मुक्त भारत’ की बात करते हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि वह कांग्रेसियों की हत्या करने के लिए कह रहे हैं. उन्होंने सिर्फ सनातन धर्म की आलोचना की है. उन्होंने कहा है कि सनातन धर्म को समाप्त कर दिया जाना चाहिए. लेकिन कुछ लोग बचकानी बात करते हुए कह रहे हैं कि मैंने लोगों को नरसंहार के लिए उकसाया है.