मिस्र की यात्रा के बाद भारत वापस लौटे पीएम मोदी, ‘देश में क्या चल रहा है?…
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमेरिका और मिस्र की अपनी पांच दिवसीय यात्रा के बाद रविवार देर रात भारत लौट आए. प्रधानमंत्री की ये यात्रा कई मायनों में ऐतिहासिक रही और इस दौरान कई समझौतों पर हस्ताक्षर हुए. पालम हवाई अड्डे पर उतरने पर बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और विदेश राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने पीएम मोदी का स्वागत किया. इसके साथ ही दिल्ली के सभी सांसद भी पीएम के स्वागत के लिए मौजूद रहे. एयरपोर्ट पर जेपी नड्डा और पार्टी नेताओं से मिलने पर पीएम मोदी के पास उनके लिए सवाल तैयार था।
देश में क्या चल रहा है- पीएम मोदी…
बीजेपी नेताओं ने बताया कि पीएम मोदी ने इस दौरान सभी का हालचाल लिया और कहा कि रात में एयरपोर्ट पर आने के लिए अपनी नींद में खलल क्यों डाला. इसके अलावा पीएम मोदी ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से पूछा कि देश में क्या चल रहा है. इसपर जवाब देते हुए जेपी नड्डा ने पीएम मोदी को केंद्र सरकार के 9 साल पूरे होने पर चल रहे कार्यक्रम के बारे में जानकारी दी. बता दें कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के निमंत्रण पर अमेरिका की राजकीय यात्रा के समापन के बाद शनिवार को पीएम मोदी मिस्त्र पहुंचे थे.
20 जून को शुरू हुई थी यात्रा…
प्रधानमंत्री मोदी 20 जून को जो बाइडेन और जिल बाइडेन के निमंत्रण पर अमेरिका की पहली राजकीय यात्रा पर निकले थे. न्यूयॉर्क में उन्होंने 21 जून को 9वें अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में एक ऐतिहासिक कार्यक्रम का नेतृत्व किया. इसके बाद पीएम मोदी वाशिंगटन डीसी पहुंचे, जहां बाइडेन ने ह्वाइट हाउस में उनका स्वागत किया. दोनों नेताओं ने 22 जून को ऐतिहासिक शिखर सम्मेलन आयोजित किया, जिसके बाद पीएम मोदी ने यूएस कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित किया।
शनिवार को मिस्र पहुंचे पीएम…
अमेरिका की यात्रा पूरी कर प्रधानमंत्री मोदी शनिवार, 24 जून को मिस्र की राजधानी काहिरा पहुंचे. राष्ट्रपति अब्देल फतह अल-सीसी के निमंत्रण पर मिस्र की उनकी दो दिवसीय राजकीय यात्रा 1997 के बाद किसी भारतीय प्रधानमंत्री की पहली द्विपक्षीय यात्रा रही. पीएम मोदी ने रविवार को राष्ट्रपति अल-सीसी के साथ बातचीत की, जिसमें व्यापार एवं निवेश, ऊर्जा संबंधों और लोगों से लोगों के बीच संबंधों में सुधार पर ध्यान देने के साथ दोनों देशों के बीच रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा हुई।
चार महत्त्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर
दोनों नेताओं ने व्यापार, निवेश, रक्षा, सुरक्षा, नवीकरणीय ऊर्जा, सांस्कृतिक और लोगों से लोगों के संबंधों सहित दोनों देशों के बीच साझेदारी को और गहरा करने के तरीकों पर चर्चा की। दोनों पक्षों ने द्विपक्षीय साझेदारी को “रणनीतिक साझेदारी” तक बढ़ाने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए। इसके अलावा, भारत और मिस्र के बीच कृषि, पुरातत्व और पुरावशेषों और प्रतिस्पर्धा कानून के क्षेत्र में तीन समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर भी हस्ताक्षर किए गए।
पिरामिड देखने गए प्रधानमंत्री…
मोदी ने ट्विटर पर कहा, ‘भारत के वीर सैनिकों को श्रद्धांजलि, जिनके साहस को कभी भुलाया नहीं जा सकता. हेलियोपोलिस युद्ध स्मारक पर, मैंने मिस्र में प्रथम विश्वयुद्ध में अपने प्राणों की आहुति देने वाले हमारे वीर सैनिकों को श्रद्धांजलि दी. प्रधानमंत्री मोदी ने अपने मिस्र के समकक्ष मुस्तफा मैडबौली के साथ काहिरा के बाहरी क्षेत्र में गीज़ा के पिरामिडों को भी देखा. मोदी ने कहा, ‘मैं पिरामिड देखने के वास्ते मेरे साथ आने के लिए प्रधानमंत्री मुस्तफा मैडबौली को धन्यवाद देता हूं. हमने अपने राष्ट्रों के सांस्कृतिक इतिहास और आने वाले समय में इन संबंधों को कैसे गहरा किया जाए, इस पर गहन चर्चा की. प्रधानमंत्री शनिवार दोपहर यहां पहुंचे और हवाई अड्डे पर उनका औपचारिक स्वागत किया गया, जहां उन्होंने ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ का निरीक्षण भी किया
अल-हाकिम मस्जिद का किया दौरा…
पीएम मोदी ने बीते 25 जून को मिस्त्र की 11वीं सदी की ऐतिहासिक अल-हाकिम मस्जिद का दौरा किया. जिसका दाऊदी बोहरा समुदाय की मदद के जीर्णोद्धार किया गया था. उन्होंने काहिरा में हेलियापोलिस राष्ट्रमंडल युद्ध कब्रिस्तान का भी दौरा किया और प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान मिस्त्र तथा अदन में बलिदान देने वाले 4300 से अधिक वीर भारतीय सैनिकों को श्रद्धांजलि अर्पित की.
‘ऑर्डर ऑफ द नाइल’ से सम्मानित…
अल-सीसी ने मोदी को मिस्र के सर्वोच्च सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ द नाइल’ से भी सम्मानित किया, जो विभिन्न देशों की ओर से प्रधानमंत्री को प्रदान किया गया 13वां सर्वोच्च राजकीय सम्मान है. मोदी ने एक ट्वीट में कहा, “मैं बड़ी विनम्रता के साथ ‘ऑर्डर ऑफ द नाइल’ स्वीकार करता हूं. मैं इस सम्मान के लिए मिस्र की सरकार और लोगों को धन्यवाद देता हूं. यह भारत और हमारे देश के लोगों के प्रति उनके सद्भाव एवं स्नेह को दर्शाता है।” मोदी और अल-सीसी ने जी-20 में आगे के सहयोग पर भी चर्चा की, जिसमें खाद्य और ऊर्जा सुरक्षा, जलवायु परिवर्तन और वैश्विक दक्षिण के लिए एक ठोस आवाज उठाने की आवश्यकता के मुद्दों पर प्रकाश डाला गया।
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