कानपुर का जेई गोपाल सिंह सात करोड़ रुपयों के गबन में गिरफ्तार

आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्लू) की वाराणसी इकाई ने की गिरफ्तारी

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वाराणसी: लगभग 10 वर्ष पुराने यूपी के गाजीपुर जिले में पर्यटन विकास और सौंदर्यीकरण कार्य के दौरान करोड़ों रूपये के शासकीय धन गबन के मामले में आर्थिक अपराध (ईओडब्ल्यू की वाराणसी शाखा की टीम ने रविवार को पीडब्ल्यूडी कानपुर में कार्यरत जेई गोपाल सिंह कुशवाहा को कानपुर से गिरफ्तार कर लिया.आर्थिक अपराध शाखा की वाराणसी इकाई के अनुसार, वित्तीय वर्ष 2012-13
के दौरान यूपी सरकार ने गाजीपुर के भदौरा ब्लॉक क्षेत्र में पर्यटन विकास और सौंदर्यीकरण कार्य
के लिए करोड़ों रुपये का बजट आवंटित किया था.आवंटित रुपये में से 7 करोड़ का गबन किया गया है.

गिरफ्तारी के लिए विशेष टीम का किया था गठन

इस मामले में गिरफ्तार जेई गोपाल सिंह कुशवाहा पूर्व में प्रतिनियुक्ति पर उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड, भदोही (वाराणसी) में कार्यरत रहा है.जेई गोपाल सिंह कुशवाहा की गिरफ्तारी के लिए ईओडब्ल्यू की वाराणसी इकाई के एसपी डी. प्रदीप कुमार ने इंस्पेक्टर सुनील कुमार वर्मा के नेतृत्व में मुख्य आरक्षी रामाश्रय सिंह व विनोद यादव और आरक्षी राजकिशोर की विशेष टीम गठित की थी.

कहा-कहां होना था विकास कार्य

गाजीपुर के ब्लॉक भदौरा के पांच अलग-अलग स्थानों पर पर्यटन विकास और सौंदर्यीकरण का कार्य वर्ष 2012- 13 के दौरान किया जाना था. शासन ने कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड भदोही (वाराणसी) को यह कार्य आवंटित किया था. इस कार्य के लिए उत्तर प्रदेश शासन द्वारा लगभग 8.17 करोड़ रुपया अवमुक्त किया गया था. इसमें से लगभग 1.17 करोड़ रूपये का कार्य मानक के अनुरूप और पूर्ण किया जाना पाया गया. लगभग 7 करोड़ रुपये के भुगतान वाले कार्य अधूरे और मानक के अनुरूप नहीं पाये गये. प्रकरण की शिकायत प्राप्त होने पर जांच अधिकारी तत्कालीन संयुक्त निदेशक पर्यटन वाराणसी व विंध्याचल मंडल अविनाश चंद्र मिश्रा ने 12 सितम्बर 2017 को उत्तर प्रदेशराजकीय निर्माण निगम लिमिटेड के परियोजना प्रबंधक, अभियंता, उप अभियंता, लेखाकार, ठेकेदार, उप ठेकेदार, पीआरवी आदि के गाजीपुर के गहमर थाने में दर्ज कराया था. मामले की गंभीरता को देखते हुए शासन ने इसकी विवेचना आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन की वाराणसी शाखा को सुपुर्द किया.

कई अधिकारी बंदरबाट में हैं शामिल

जांचकर्ता निरीक्षक सुनील कुमार वर्मा ने शासकीय धन के बंदरबाट में तत्कालीनपरियोजना निर्देशक, अभियंता, उप अभियंता, लेखाकार और कैशियर के साथ ठेकेदारों को भी दोषी पाया है. इस मामले में लिप्त आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए ईओडब्ल्यू लखनऊ मुख्यालय के निर्देश पर पुलिस अधीक्षक ईओडब्ल्यू डी प्रदीप कुमार ने निरीक्षक सुनील कुमार वर्मा के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया. टीम ने शनिवार को रात्रि में पीडब्लूडी कार्यालय कानपुर देहात में कार्यरत जेई गोपाल सिंह कुशवाहा को गिरफ्तार कर लिया. गोपाल सिंह पूर्व में प्रतिनियुक्ति पर उप अभियंता पद पर उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड में कार्यरत था. गोपाल सिंह कुशवाहा कानपुर के लवकुशपुरम का निवासी है. टीम ने भ्रष्टाचार न्यायालय में रिमांड के लिए उसे पेश किया. गिरफ्तारी टीम में उप निरीक्षक जटाशंकर पांडेय,मुख्य आरक्षी रामाश्रय सिंह,विनोद यादव और आरक्षी राजकिशोर रहे.

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