उत्तर प्रदेश के खेल सचिव और पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी IAS सुहास एलवाई ने एक बड़ी उपलब्धि अपने नाम कर ली है. उन्होंने विश्व महासंघ पैरा बैडमिंटन रैंकिंग में पुरुष एकल वर्ग में पहला स्थान हासिल किया है. अब वह दुनिया के नंबर एक पैरा शटलर बन गए हैं. सुहास एलवाई ने फ्रांस के लुकास मजूर को एसएल-4 एकल वर्ग में पीछे छोड़कर यह कामयाबी हासिल की. इस बड़ी उपलब्धि के बाद वह अब पेरिस ओलंपिक में बतौर शीर्ष शटलर मैदान में उतरेंगे. यह पहला मौका है, जब विश्व रैंकिंग में भारत को पहला स्थान प्राप्त हुआ है.
यूपी कैडर के आईएएस सुहास एलवाई ने इसी साल फरवरी में भी देश का नाम रौशन किया था. उन्होंने इंडोनेशिया के फ्रेडी सेतियावान को हराकर विश्व चैंपियनशिप खिताब अपने नाम किया था. उन्होंने पैरा बैडमिंटन में कई बड़ी उपलब्धि अपने नाम की है.
जीत चुके हैं दो बार गोल्ड मेडल
सुहास एलवाई भारत के लिए दो बार गोल्ड मेडल जीत चुके हैं. उन्होंने 2016 में चीन में खेली गई एशियाई पैरा चैंपियनशिप और 2024 में थाईलैंड में आयोजित विश्व चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता था. 2020 में हुए टोक्यो पैरालंपिक में उन्होंने सिल्वर मेडल अपने नाम किया था.
कर्नाटक के रहने वाले हैं सुहास
बता दें कि सुहास एलवाई कर्नाटक के शिगोमा शहर के रहने वाले हैं. उन्हें बचपन से ही खेल-कूद में रूचि थी. पैर से दिव्यांग होने के बावजूद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. पढ़ाई-लिखाई के साथ उन्होंने खेल पर भी ध्यान केंद्रित किया. इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने के बाद उन्होंने नौकरी करनी शुरू की.
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मिल चुका है अर्जुन पुरस्कार
इसी बीच उनके पिता का निधन हो गया, जिसके बाद उन्होंने सिविल परीक्षा की तैयारी शुरू की. सुहास एलवाई ने 2007 में यूपीएससी की परीक्षा पास की और उनकी नियुक्ति उत्तर प्रदेश कैडर में हुई. खेल में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने के लिए भारत सरकार उन्हें अर्जुन पुरस्कार से भी नवाज चुकी है.