जाने, क्यों नहीं दिया तेजस्वी ने इस्तीफा?
हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा (सेक्युलर) के अध्यक्ष जीतनराम मांझी (Manjhi) ने गुरुवार को कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपनी कुर्सी बचाने के लिए राष्ट्रीय जनता दल (राजद) सुप्रीमो लालू प्रसाद के बेटे एवं उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव को बर्खास्त नहीं किया। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री मांझी ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि तेजस्वी यादव के खिलाफ गंभीर आरोप लगे और यहां तक कि सीबीआई ने उनके खिलाफ प्राथमिकी भी दर्ज की। उन्हें खुद से इस्तीफा देना चाहिए था।
मांझी ने कहा कि पार्टी के लोग कहते हैं कि वह इस्तीफा नहीं देंगे लेकिन नीतीश कुमार ने उन्हें अपना पक्ष रखने के लिए चार दिनों का समय दे दिया। मांझी ने कहा कि नीतीश कुमार को उन्हें तुरंत मंत्रिमंडल से निकाल देना चाहिए क्योंकि यही एकमात्र विकल्प है। लेकिन, उन्होंने अपनी कुर्सी बचाने के लिए ऐसा नहीं किया।
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पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि डिग्री घोटाले में उनके खिलाफ मामला दर्ज होने पर उनसे इस्तीफा मांग लिया गया था। मांझी ने कहा कि यदि नीतीश कुमार की भ्रष्टाचार को लेकर जीरो टॉलरेंस पॉलिसी है तो उन्हें तुरंत तेजस्वी को बर्खास्त करना चाहिए। राजद नीतीश सरकार में साझीदार है। मांझी ने मांग की कि उच्च जाति के गरीबों को भी शिक्षा में आरक्षण मिलना चाहिए।
मांझी ने कहा कि गरीब को जाति के आधार पर पहचाना नहीं जाना चाहिए। हमारी मांग है कि उच्च जाति के बच्चों को भी आरक्षण मिलना चाहिए। उन्होंने विख्यात समाजवादी नेता दिवंगत कर्पूरी ठाकुर और ‘माउंटेन मैन’ दशरथ मांझी को भारत रत्न देने की मांग की।
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