सीतापुर हत्याकांड में बड़ा मोड़, संपत्ति के लालच में बडे़ भाई ने रची थी मौत की घिनौनी साजिश…
यूपी के जिला सीतापुर में बीते शनिवार को हुई एक परिवार के 6 लोगों की हत्या ने लोगों को झकझोर कर रख दिया था. प्रारंभिक जांच में यह सामने आया था कि, परिवार के अनुराग सिंह ने अपनी मां, पत्नी और तीन बच्चों को मारकर खुदखुशी कर ली. लेकिन यह सच नहीं था बल्कि इस पूरी वारदात का खुद को चश्मदीद बताने वाले अनुराग सिंह के बड़े भाई अजीत सिंह ने ही इस जघन्य हत्याकांड को अंजाम दिया था. यह खुलासा पोस्टमार्टम रिपोर्ट के जरिए किया गया है, क्योंकि पोस्टमार्टम में पाया गया है कि, आरोपी अनुराग के सिर पर दो गोली मारी गयी थी, इस रिपोर्ट के बाद जब संदेह होने पर पुलिस ने बड़े भाई से कड़ाई से पूछताछ की तो, उसने अपना जुर्म कुबूल कर लिया.
इस मामले में पूछताछ के बाद पुलिस ने आरोपी अजीत समेत पांच लोगों को हिरासत में लिया है. इनमें अजीत, उसकी पत्नी और उनके चाचा आर.पी.सिंह और उनके बेटे अमित, आशुतोष शामिल हैं. हालांकि, पुलिस वारदात के पीछे की पूरी वजह को लेकर जांच कर रही है.
साजिश की तहत पूरा आरोप अनुराग पर मढ़ा
बताते हैं कि, आरोपी अजीत ने इस पूरे मामले को पूरी साजिश के साथ अंजाम दिया था. इसके लिए उसने अपनी पत्नी और बच्चों को हत्याकांड से पहले मायके भेज आया था और उसने कुछ इस तरह से वारदात को अंजाम दिया की पूरा इल्जाम अनुराग पर ही मढ दिया, जिसकी वजह से हत्याकांड के पहले दिन अनुराग को ही आरोपी ठहराया गया था. उसने वारदात के बाद खुद को हत्याकांड का चश्मदीद बताते हुए पुलिस को बताया था कि, मानसिक तौर पर कमजोर अनुराग ने उसे भी मारने के लिए पिस्टल लेकर दौड़ाया था लेकिन उसने मौके पर दरवाजा बंद कर लिया, इसलिए वह बच गया था.
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ऐसे संदेह के घेरे में आया अजीत
इस कांड की पड़ताल कर रही पुलिस ने जब खुद को चश्मदीद बताने वाले अजीत से पुलिस ने सवाल किये तो वह गोलमोल जवाब देने का प्रयास कर रहा था. क्योंकि कुछ बातें थी जो पुलिस को हजम नहीं हो रही थी, जैसे इतनी बड़ी वारदात के समय उसका कमरे में बंद रहना, घर के छह लोगों को मौत के बाद खुद कमरे से बाहर आ जाना, पड़ोसियों के पहुंचने पर कार की चाभी न देना. ऐसे में शक होने पर पुलिस में अजीत के कड़ाई से पूछताछ शुरू कर दी और अंत में वही सामने आया जिसका पुलिस को संदेह था.