रोंहिग्या मुस्लिम के बाद अब ये मुस्लिम सोशलमीडिया पर छाएं…

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बीते कुछ दिनों से पूरे देश में रोंहिग्या मुसलमानों की किसी न किसी मुद्दें पर जोरो से चर्चा का विषय रहें। चाहे वो सोशल मीडिया हो या आम चर्चाएं। इसी प्रकार इन दिनों बांग्लादेश, भारत और म्यांमार में अस्तित्व की तलाश कर रहे रोहिंग्या मुसलमानों के बाद अब वीगर मुस्लिम सुर्खियों में है। हाल ही में वीगर मुसलमानों को पवित्र कुरान समेत कई धार्मिक चीजों को जमा करने के लिए कहा गया है।

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हालांकि यह क्षेत्र के चीन वामपंथियों से परेशान है

पहले ही इन मुसलमानों पर कई प्रतिंबध लगाए गए हैं। आइए आपको बताते हैं कौन है वीगर मुसलमान और क्यों बने हैं चर्चा का विषय।मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक वीगर एक अल्पसंख्यक मुसलमानों का समुदाय है। बताया जाता है कि वो मध्य एशिया से आते हैं। शिनजियांग (चीन) को वीराग बहुल माना जाता है। शिनजियांग आधिकारिक रूप से स्वायत्त क्षेत्र है। हालांकि यह क्षेत्र के चीन वामपंथियों से परेशान है। वीगर मूल रूप से तुर्की के मुसलमान हैं।

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प्रतिबंध के साथ उनका संबंध खूनी संघर्ष से भी है

शिनजियांग में इनकी संख्या 45 फीसदी है, वहां 40 फीसदी हान चीनी रहते हैं। ऐसा पहली बार नहीं है कि वीराग मुसलमानों के लिए कोई फरमान सुनाया गया है। इससे पहले भी उन पर कई तरह के प्रतिबंध लगाए गए हैं। इन लोगों पर ‘असामान्य’ रूप से लंबी दाढ़ी रखने और नकाब लगाने और सरकारी टीवी चैनल देखने पर रोक लगाई गई है। बताया जाता है कि पहले वीगर मुसलमानों पर रोजा रखने पर भी रोक लगाई गई थी। प्रतिबंध के साथ उनका संबंध खूनी संघर्ष से भी है।

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क्षेत्र में हुई हिंसा में 200 लोग मारे गए थे

इन सालों में इस प्रांत में संघर्ष के कई मामले सामने आए हैं। कुछ सालों पहले इस क्षेत्र में हुई हिंसा में 200 लोग मारे गए थे, जिसमें कई वीगर भी शामिल थे। यहां के लोग इस हिंसा के लिए पुलिस को जिम्मेदार मानते हैं। हालांकि चीन सरकार का कहना है कि शिनजियांग में सबकुछ ठीक है। साथ ही उन्होंने हिंसा के लिए भी अलग अलग संगठनों को जिम्मेदार बताया था।

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जबकि दोनों पक्ष एक दूसरे पर आरोप लगा रहे हैं

वहीं वीगर समुदाय के लोगों को कहना है कि सरकार ने यहां दमन काफी किया है। चीन का आरोप है कि वीगर चरमपंथी अलग होने के लिए हिंसक अभियान छेड़े हुए हैं। इनका संबंध भारत से भी है। कुछ महीनों पहले वीगर कांग्रेस के डॉल्कन ईसा को भारत ने वीजा देने से मना कर दिया था। वो एक हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में आयोजित होने वाले सम्मेलन में हिस्सा लेने आने वाले थे। वीगर मुसलमान भी रोहिंग्या मुसलमान की तरह दिक्कतों का सामना कर रहे हैं। कथित तौर पर उन पर भी पुलिस की ओर से अत्याचार किया जा रहें, जबकि दोनों पक्ष एक दूसरे पर आरोप लगा रहे हैं।

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