12 साल की दोस्ती ने बचाई जान

दोस्ती(friendship) मे वैसे तो कई मिसाले दी जाती हैं लेकिन यह एक ऐसा मामला सामने आया हैं जहां एक दोस्त ने 12 साल पुरानी दोस्ती के लिये लिवर डोनेड कर दिया ।

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दोस्ती की मिसाल हैं प्रसन्ना

पुजा के पति अनुराग बत्रा ने एक अभियान चलाया था इस अभियान का आयोजन 21 जुलाई को साकेंत मैक्स हास्पिटल में हुआ था चेन्नई से प्रसन्ना गोपिनाथ ने पूजा की जिंदगी बचाने के लिये अपने जिगर का एक अहम हिस्सा दान करने दिल्ली पहुचे थे ।

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एक्ट गैर – संबंधित अंग दातओं के बारे में काफी सख्त हैं 

मैक्स हास्पिटल के लिवर ट्रांसप्लांट डॉ सुभाष गुप्ता ने बताया रोगी और दाता के बीच एक दोस्ती का रिश्ता बनाने पर विचार किया गया और अंत में जिगर दान करने की अनुमति दे दी गयी थी । ट्रांसप्लांट एक्ट गैर – संबंधित अंग दातओं के बारे में काफी सख्त हैं , प्रसन्ना और पूजा की दोस्ती सन 2005 में  ‘वे वेल्स ग्लामोर्गन’ विश्वविद्यालय में पढते समय पूजा के पति के साथ एक फ्लैट शेयर करते थे ।

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प्रसन्ना 34 साल कि उम्र में भारत लौट आये थे और अपनी पढाई पूरी की और बाद में चेन्नई में कुत्ता ट्रेनर के रूप मे काम करना शुरू किया था , और वह हमेशा पूजा के संपर्क में रहें । 12 साल के बाद यह दोंस्ती उनके लिये वरदान साबित हुई

तार्किक भारतिय समुदाय प्रसन्ना गोपीनाथ और उसके परिवार के साहस की सराहना की । उन्होंने एक सचेत निर्णय बनाया , इस मे बहत से लोग डरे होंगे  । हम पूजा और पूजा के परिवार के प्रयासों को सलाम करते हैं ।

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