काशी में भिखारियों के सामने खड़ा हुआ भोजन का संकट । Banaras Bulletin

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स्टोरी-1

फीस माफी के लिए सड़क पर उतरे लोग
सरकार से स्कूलों की तीन महीने की फीस माफ करने की मांग
सपा पार्षद ने सरकार पर बोला हल्ला

वीओ–लॉकडाउन के चलते पिछले 3 माह से सभी स्कूल बंद हैं। ऐसे में स्कूलों की ओर से ऑनलाइन क्लासेज चलाया जा रहा है। स्कूलों की ओर अभिभावकों पर फीस के लिए दबाव बनाया जा रहा है। अब इसे लेकर लोगों में गुस्सा बढ़ने लगा है। लक्सा स्थित दैत्रा वीर बाबा मंदिर के पास कुछ स्कूली बच्चों और अभिभावकों के साथ समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने सरकार से छात्रों की फीस माफ कराने की मांग उठाई। सपा पार्षद कमल पटेल की अगुवाई में लोगों ने प्रदर्शन किया। पार्षद कमल पटेल ने बताया कि कोरोना वायरस महामारी के चलते 24 मार्च से पूरे देश में लॉकडाउन लगा दिया गया। बड़ी-बड़ी कंपनियां/ फैक्ट्रीया और सभी कार्यालयों के साथ-साथ स्कूल कॉलेज सब बंद कर दिए गए। जिस कारण अभिभावकों की आर्थिक स्थिति काफी कमजोर हो चुकी है। ऐसे में सरकार गरीब और मध्यम वर्गीय परिवार की मदद करते हुए स्कूलों की तीन महीने की फीस माफ कराने का कष्ट करे।
Byte :— कमल पटेल, सपा पार्षद
Byte :— विवेक यादव, स्थानीय निवासी

स्टोरी-2

वित्तविहीन शिक्षकों के वेतन के लिए प्रदर्शन
गंगा में उतरे समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता
मांगें पूरी नहीं होने पर बड़े आंदोलन की चेतावनी

वीओ- लॉकडाउन में समाजवादी पार्टी ने विरोध प्रदर्शन तेज कर दिया है। सरकार पर विफलता का तोहमत मढ़ते हुए समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने गंगा में उतरकर जोरदार प्रदर्शन किया। सपा कार्यकर्ताओं ने वित्तविहीन शिक्षकों के समर्थन में विरोध प्रदर्शन किया। समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता अर्धनग्न होकर गंगा में उतर गए और वित्तविहीन शिक्षकों को वेतन देने की मांग की। कार्यकर्ताओं का कहना था कि कोरोना काल में वित्तविहीन कॉलेजों से शिक्षकों को वेतन नहीं मिल रहा है। ऐसे में उनके सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया। कार्यकर्ताओं ने कहा कि अगर उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं तो, बड़ा आंदोलन होगा।
बाइट- सपा कार्यकर्ता

स्टोरी -3 

बीजेपी के घर-घर पत्र बांटने के खिलाफ सपा का नया वार
अब जवाबी पत्र भेजने की तैयारी में समाजवादी पार्टी कार्यकर्ता
पीएम के सामने रखी सात सूत्रीय मांगें

वीओ– देश में मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का 1 वर्ष पूरा होने के बाद बीजेपी घर-घर जाकर सरकार की उपलब्धियों का पत्र बांट रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस पत्र को करोड़ों घरों में पहुंचाया गया लेकिन अब जनता के द्वारा प्रधानमंत्री को जवाब में पत्र भेजा जा रहा है। दरअसल प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने घर घर जाकर जनता से पत्र इकट्ठा कर पीएम को भेज रहे है। जनता के द्वारा इस पत्र में लॉकडाउन के दौरान होने वाली परेशानी से 7 सूत्रीय मांग रखी गई। समाजवादी पार्टी की ओर से इस अभियान को चलाया जा रहा है। सपा कार्यकर्ताओं की मानें तो यह सभी पत्र वाराणसी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय जनसंपर्क कार्यालय पर सौंपा जाएगा और इन पत्रों को प्रधानमंत्री कार्यालय तक भेजा जाएगा।

स्टोरी-4

भिखारियों के सामने खड़ा हुआ भोजन का संकट
रैन बसेरों से बाहर निकाले गए भिखारी
अब भी मंदिरों के दरवाजे हैं बंद

वीओ–देवाधिदेव महादेव की नगरी काशी में कोई भूखा नहीं सोता लेकिन लॉकडाउन के चलते काशी में भीख मांगने वाले भिखारियों के आगे बड़ी मुसीबत आन पड़ी है। काशी के अधिकांश मठ मंदिर अब भी बंद है और पर्यटकों की आवाजाही ना के बराबर है। ऐसे में मंदिरों के बाहर भीख मांग कर अपना पेट भरने वाले भिखारी इन दिनों भूख से परेशान हैं। भिखारियों की माने तो लॉकडाउन से पहले उनके जीवन के गुजारे के लिए भक्तों से 100-120 तक मिल जाया करते थे लेकिन अब 5 और 10 रुपए से ही उन्हें अपना काम चलाना पड़ रहा है । बता दे कोरोना काल की शुरुआत में जिला प्रशासन ने इन भिखारियों के लिए रैन बसेरों में रहने के साथ ही खाने-पीने का इंतजाम किया था लेकिन अनलॉक की शुरुआत होने के साथी इनका सहारा बने रेन बसेरों से इन्हें बाहर निकाल दिया गया ।
बाइट – भिखारी
बाइट – भिखारी
बाइट – भिखारी

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