15 साल बाद ‘दादा’ ने किया ट्रेन से सफर

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पूर्व भारतीय कप्तान सौरव गांगुली ने शनिवार को कोलकाता के पास अपनी एक कांस्य की मूर्ति का अनावरण किया। इस दौरान सौरव गांगुली ने कोलकाता से मालदा तक ट्रेन से सफर किया, लेकिन ये सफर गांगुली के लिए अच्छा नहीं रहा। सौरव जिस ट्रेन में बैठे, उसमें उनकी एक व्यक्ति से तीखी बहस हो गई। सौरव गांगुली लगभग 16 साल बाद ट्रेन का सफर कर रहे थे।

दरअसल, गांगुली को उत्तर बंगाल के बालुरघाट में मूर्ति का अनावरण करना था। इस दौरान वह पदातिक एक्सप्रेस से एसी फर्स्ट क्लास से वहां जाने लगे। लेकिन जब गांगुली अपनी सीट पर पहुंचे तो एक व्यक्ति वहां पर पहले से ही बैठा था। इस दौरान गांगुली के साथ बंगाल क्रिकेट संघ के संयुक्त सचिन अभिषेक डालमिया भी थे।

सीट को लेकर एक शख्स हुई बहस 

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, गांगुली ने जब उस व्यक्ति से सीट से हटने को कहा तो वह व्यक्ति नहीं उठा और बहस करने लगा। जिसके बाद सौरव ट्रेन से ही उतर गए, वहां पर भीड़ भी जमा हो गई। लेकिन बाद में सौरव को एसी-2 की एक सीट दी गई। दरअसल यह गड़बड़ी तकनीकी कारणों की वजह से हुई थी।

दादा ने साल 2001 में ट्रेन से किया था सफर

कार्यक्रम के दौरान सौरव गांगुली ने कहा कि उन्होंने इससे पहले 2001 में ट्रेन से सफर किया था, ऐसा करीब 15 साल बाद हुआ है। आपको बता दें कि सौरव गांगुली अभी बंगाल क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष हैं, और बीसीसीआई की क्रिकेट सलाहकार समिति के सदस्य भी हैं।

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