SC का दिल्ली पुलिस को फरमान, कहा- स्थिति बदतर होती जा रही …

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने आज बाल तस्करी को लेकर गंभीर चिंता जाहिर की है. कोर्ट ने कहा कि स्थिति बद से बदतर होती जा रही है. कोर्ट ने एक मामले में सुनवाई करते हुए दिल्ली पुलिस से किडनैप किए गए नवजात शिशुओं को खोजने के लिए सभी जरूरी कदम उठाने के लिए निर्देश दिए.

दिल्ली पुलिस से मांगी रिपोर्ट…

सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस से पूछा कि दिल्ली के अंदर और बाहर नवजात शिशुओं को किडनैप करने और उन्हें बेचने में शामिल गिरोह के मुद्दे की जांच के लिए क्या कदम उठाए गए हैं. कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को चार हफ्ते का समय देते हुए बाल तस्करी में शामिल गिरोह के सरगना का पता लगाकार गिरोह के बारे में अदालत को सूचित करने का आदेश दिया.

दिल्ली पुलिस को सख्त आदेश

सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को छह गायब बच्चों का पता लगाने का आदेश दिया. कोर्ट ने कहा, “दिल्ली पुलिस बच्चों को कहीं से भी ढूंढकर लाए. ” साथ ही, जांच अधिकारी को कार्ययोजना की रूपरेखा के साथ कोर्ट में पेश होने का निर्देश दिया. कोर्ट ने यह भी पूछा, “आपकी कार्यवाही कैसी चल रही है ?” साथ ही बाल तस्करी रैकेट के सरगना या उनके रिश्तेदारों को पकड़ने का आदेश दिया.

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दिल्ली में बच्चों के अपहरण और खरीद फरोख्त के मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त लहजा अपनाया. सुनवाई के दौरान जस्टिस पारदीवाला ने कहा कि कोई किसी व्यक्ति का हत्या करता है तो उसके पीछे कोई वजह होती है. एक हत्या के बाद वह दूसरी हत्या नहीं करता. लेकिन जो बच्चों को किडनैप करके बेचते हैं, वो बार-बार यह अपराध करते हैं. ये ज्यादा खतरनाक हैं. दिल्ली पुलिस ने कोर्ट को बताया कि कुछ बच्चे ऐसे हैं जो चोरी नहीं किए गए हैं बल्कि उनके पेरेंटस ने उन्हें बेचा है.

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उत्तर प्रदेश के मामले में भी कार्रवाई

सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश में बाल तस्करी से जुड़े 13 आरोपियों की जमानत रद्द कर दी. कोर्ट ने इस मामले में भी सख्त रुख अपनाते हुए कहा कि ऐसे अपराधों को रोकने के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत है. सुप्रीम कोर्ट का यह सख्त रुख बाल तस्करी के खिलाफ एक मजबूत संदेश देता है, और दिल्ली पुलिस पर इस जघन्य अपराध को रोकने की बड़ी जिम्मेदारी डालता है.