पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी नरेंद्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं होंगी। नई दिल्ली में 30 मई को प्रधानमंत्री के रूप में नरेंद्र मोदी शपथ ग्रहण करेंगे।
ममता बनर्जी ने कहा कि उनकी इस समारोह में ‘संवैधानिक निमंत्रण’ पर भाग लेने की योजना थी लेकिन परिस्थितियों ने उनके मन को बदल दिया।
ममता बनर्जी ने बुधवार को ट्विटर पर एक पोस्ट में लिखा, ‘मैं पिछले एक घंटे से मीडिया रिपोर्ट देख रही हूं कि भाजपा दावा कर रही है कि बंगाल में 54 लोग राजनीतिक हिंसा में मारे गए हैं।’
आगे ममता ने कहा, ‘यह पूरी तरह से असत्य है। बंगाल में कोई राजनीतिक हत्या नहीं हुई है। हमारा कोई रिकॉर्ड नहीं है। क्षमा करें, इसने मुझे समारोह में नहीं आने के लिए मजबूर किया है।’
The oath-taking ceremony is an august occasion to celebrate democracy, not one that should be devalued by any political party pic.twitter.com/Mznq0xN11Q
— Mamata Banerjee (@MamataOfficial) May 29, 2019
पीएम मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं होने के ममता बनर्जी के फैसले की बीजेपी ने निंदा की। बीजेपी ने कहा कि ममता इस समारोह में इसलिए नहीं आ रहीं है क्योंकि पश्चिम बंगाल हिंसा में मारे गए भाजपा कार्यकताओं के परिवारों को इस समारोह में आमंत्रित किया है।
भाजपा ने चुनाव हिंसा में मारे गए पार्टी कार्यकर्ताओं के परिजनों को आमंत्रित करने के बाद ममता ने शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं होने का फैसला किया।
बंगाल भाजपा के अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि लोकसभा चुनावों के दौरान बंगाल एकमात्र ऐसा राज्य था, जहां हिंसा हुई थी और ममता बनर्जी छुपाने की कोशिश कर रहीं हैं।
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