भगवान श्री कृष्ण के जन्मोत्सव को जन्माष्टमी के नाम से जाना जाता है। पूरे देश में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का त्योहार बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। इस साल 30 अगस्त को जन्माष्टमी का त्योहार मनाया जाएगा।
इस दिन भक्त जन्माष्टमी का व्रत करते हैं और रात को 12 बजे के बाद अपने घर में पूजा के स्थान में कान्हाजी जन्मोत्सव पूजन करके खुशियां मनाते हैं।
आज हम आपको बताने जा रहे हैं कृष्णजी को प्रिय ऐसी 7 वस्तुएं जो जन्माष्टमी की पूजा में शामिल करना बहुत अच्छा माना जाता है।
कृष्ण पूजा में जरूर शामिल करें ये चीजें-
माखन-मिसरी
कान्हाजी को माखनचोर के नाम से भी जाना जाता है। उन्हें बचपन से ही माखन मिसरी प्रिय है। ऐसे में कान्हाजी को माखन मिसरी का भोग लगाए।
पिसा धनिया
कृष्णजी की पूजा में धनिया का प्रयोग करना आपको सुख समृद्धि प्रदान करता है। आम तौर पर लोग धनिए की पंजीरी बनाकर भगवान को भोग के रूप में अर्पित करते हैं।
गाय की मूर्ति
कान्हाजी को बचपन से ही गौमाता से खास लगाव था। इसलिए कान्हाजी के लिए भोग प्रसाद तैयार करने में गाय के घी का प्रयोग किया जाता है।
इसके अलावा जन्माष्टमी की पूजा में आप गाय की छोटी सी मूर्ति भी रख सकते हैं।
मोरपंख
कृष्णजी अपने मुकुट में सदैव मोरपंख का पंख धारण करते थे। घर के पूजा के स्थान में सदैव मोरपंख रखने से हर प्रकार की नकरात्मकता दूर रहती है।
बांसुरी
कान्हाजी की बांसुरी की धुन पर गोपियां मोहित हो जाती थीं। जन्माष्टमी की पूजा में बांसुरी रखना जरूरी माना जाता है।
पंचामृत
पांच मेवा, दूध, दही, घी, गंगाजल और शहद से मिलकर बना पंचामृत भगवान कृष्ण के भोग के लिए सबसे अनिवार्य और उत्तम माना जाता है।
वैजयंती का फूल
जन्माष्टमी पर भगवान कृष्ण की पूजा में वैजयंती का फूल अगर कहीं मिल पाना संभव हो तो अवश्य लाएं। भगवान कृष्ण को यह फूल सबसे प्रिय माना जाता है।
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